Jharkhand: झारखंड में अपनी नई पारी के लिए तैयार हैं कल्पना सोरेन
Kalpana Soren

रांची, 5 जून : कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने जेल में बंद झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन की तुलना अपने क्षेत्र की रक्षा के लिए तैयार 'शेरनी' से की थी और अब वह शेरनी अपनी नई भूमिका के लिए तैयार हो रही हैं. कल्पना सोरेन को झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो)में नयी जान फूंकने का श्रेय जाता है. राजनीति कभी भी कल्पना सोरेन को पसंद नहीं थी लेकिन जब उनके पति हेमंत सोरेन को 31 जनवरी को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने एक कथित भूमि घोटाले से जुड़े धन शोधन के मामले में गिरफ्तार कर लिया गया तो यह उनकी मजबूरी बन गई. कल्पना ने लोकसभा चुनावों में झामुमो का नेतृत्व किया और भाजपा पर विपक्षी गठबंधन 'इंडिया' को कुचलने की मंशा रखने वाली ‘अत्याचारी ताकत’ होने का आरोप लगाकर समर्थन जुटाया. अपने पति की गिरफ़्तारी के बाद से ही वह इस बात पर ज़ोर दे रही हैं कि झुकना आदिवासियों के डीएनए में नहीं है. उन्होंने गांडेय उपचुनाव में अपने निकटतम प्रतिद्वंदी और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) उम्मीदवार दिलीप कुमार वर्मा को 27,149 मतों से हराया. यह सीट झामुमो विधायक सरफराज अहमद के इस्तीफे के बाद खाली हो गई थी.

अपनी जीत के बाद कल्पना सोरेन ने कहा, "मैं लोगों के अटूट समर्थन के लिए उनका दिल से समर्थन करती हूं...मैं दिसोम गुरु शिबू सोरेन जी (झामुमो प्रमुख) और हेमंत जी का आभार व्यक्त करती हूं...मैं लोगों के लिए लगातार काम करूंगी. यह विपक्षी गठबंधन 'इंडिया' की एकता को दर्शाता है." कल्पना की राजनीतिक यात्रा चार मार्च को गिरिडीह जिले में झामुमो के 51वें स्थापना दिवस समारोह से शुरू हुई जहां उन्होंने दावा किया था कि 2019 में हेमंत सोरेन गठबंधन सरकार के सत्ता में आने के बाद से ही विरोधियों द्वारा एक साजिश रची गई थी. हेमंत सोरेन को 31 जनवरी को ईडी ने कथित भूमि घोटाले से जुड़े धन शोधन के मामले में गिरफ्तार किया था. गिरफ्तारी से पहले उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था. यह भी पढ़ें : Mayawati On Muslim Community: मायावती का मुस्लिम समाज पे बड़ा बयान कहा की, पार्टी सोच समझकर देगी मौका

कल्पना झारखंड में विपक्षी गठबंधन 'इंडिया' की जनसभाओं में प्रमुख चेहरा थी और उन्होंने राज्य में गठबंधन के लिए प्रचार किया था. वह 21 अप्रैल को रांची में 'उलगुलान न्याय' रैली में मुख्य वक्ताओं में से एक थीं, जिसमें 28 दलों के नेता शामिल हुए थे.

पांच फरवरी को सत्तारूढ़ झामुमो के नेतृत्व वाले गठबंधन द्वारा अपना बहुमत साबित करने के बाद कल्पना ने ‘एक्स ’ पर घोषणा की कि "अन्याय और उत्पीड़न के खिलाफ लड़ाई जारी रहेगी." कल्पना (48) के पास इंजीनियरिंग और एमबीए की डिग्री है. कल्पना ने कहा, "मैं अन्याय और तानाशाही के खिलाफ लड़ूंगी क्योंकि झुकना आदिवासियों के डीएनए में नहीं है. मैं अपने पति के पदचिन्हों पर चलूंगी. उन्होंने अपने मूल्यों से समझौता करने के बजाय जेल जाना चुना. मैं उनकी अर्धांगिनी हूं और यह सुनिश्चित करूंगी कि अत्याचारी ताकतों को मुंहतोड़ जवाब मिले."

उन्होंने ईडी द्वारा अपने पति की गिरफ्तारी को राजनीति से प्रेरित और उन्हें भाजपा में शामिल होने के लिए मजबूर करने की योजना का हिस्सा बताया. उन्होंने कहा था, "उनकी गिरफ्तारी केंद्र सरकार द्वारा उन्हें डराने, धमकाने और अपमानित करने की साजिश का हिस्सा है लेकिन चुनावों में उन्हें इसका करारा जवाब मिलेगा." कल्पना ने ओडिशा के मयूरभंज जिले के बारीपदा में अपनी स्कूली शिक्षा पूरी की है और भुवनेश्वर से इंजीनियरिंग तथा एमबीए की डिग्री हासिल की है. दिसंबर में अहमद के इस्तीफे के बाद से ही कल्पना की उम्मीदवारी के बारे में अटकलें लगाई जाने लगी थीं. भाजपा ने दावा किया था कि ईडी द्वारा उनके पति को समन जारी किए जाने की स्थिति में उनकी उम्मीदवारी के लिए ऐसा किया गया था.