नयी दिल्ली, 27 जून भारत ने बृहस्पतिवार को हाइड्रोलिक रॉक ब्रेकर सहित तीन चीनी उत्पादों पर डंपिंग रोधी शुल्क लगा दिया। केंद्र सरकार के इस कदम का उद्देश्य घरेलू उत्पादकों को सस्ते आयात से संरक्षण देना है।
ये शुल्क वाणिज्य मंत्रालय के व्यापार उपचार महानिदेशालय (डीजीटीआर) की सिफारिश के बाद लगाए गए हैं। डीजीटीआर ने अपनी जांच में निष्कर्ष निकाला है कि इन वस्तुओं की डंपिंग से घरेलू उद्योग प्रभावित हो रहा है।
घरेलू कंपनियों द्वारा इन वस्तुओं की डंपिंग की शिकायत दर्ज कराए जाने के बाद डीजीटीआर ने जांच शुरू की।
राजस्व विभाग ने तीन अलग-अलग अधिसूचनाओं में इन शुल्कों को अधिसूचित किया है।
हाइड्रोलिक रॉक ब्रेकर्स पर शुल्क डॉलर में सीआईएफ (लागत, बीमा, माल ढुलाई) मूल्य के 4.55 प्रतिशत से 162.5 प्रतिशत के बीच है। दक्षिण कोरिया से आने वाले इन उत्पादों पर भी शुल्क लगाया गया है।
इन ब्रेकर्स का उपयोग निर्माण और खनन उद्योग में विध्वंस, उत्खनन, खनन और बोल्डर तोड़ने की गतिविधियों के लिए किया जाता है।
एक अधिसूचना के अनुसार, “(इन ब्रेकर्स पर) लगाया गया डंपिंग रोधी शुल्क पांच वर्ष की अवधि के लिए प्रभावी रहेगा (जब तक कि इसे पहले ही रद्द, प्रतिस्थापित या संशोधित न कर दिया जाए)।”
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