तिरुवनंतपुरम, 26 जून केरल के कई हिस्सों में बुधवार को भारी बारिश और तेज हवाओं के कारण कई मकान क्षतिग्रस्त हो गए, पेड़ उखड़ गए और नदियों तथा बांधों का जलस्तर भी बढ़ गया।
समुद्र की ऊंची लहरों ने त्रिशूर और एर्नाकुलम जैसे कई जिलों के तटीय हिस्सों को अपनी चपेट में ले लिया। वहीं, कोझिकोड की ऊंची चोटियों पर भूस्खलन होने से भारी तबाही हुई।
अधिकारियों ने बताया कि केरल में मंगलवार रात से भारी बारिश और तेज हवाओं के कारण अलप्पुझा, कन्नूर और इडुक्की जिलों में कई घर क्षतिग्रस्त हो गए।
कोल्लम जिले के प्रसिद्ध ओचिरा परब्रह्म मंदिर में 'अन्नदान मंडपम' (भोजन कक्ष) का एक हिस्सा लगातार बारिश के कारण ढह गया।
भारी बारिश और तेज हवाएं चलने के कारण एर्नाकुलम के निकट अलुवा में पेरियार नदी के तट पर कई पेड़ उखड़ गए।
अतिरिक्त पानी निकालने के लिए मलंकारा, पम्बला और कल्लारकुट्टी जैसे कई बांधों के द्वार खोल दिए गए।
एर्नाकुलम जिला प्रशासन ने मुवत्तुपुझा और थोडुपुझा नदियों के तट पर रहने वाले लोगों से सावधानी बरतने का आग्रह किया है क्योंकि मलंकारा बांध के तीन द्वार एक-एक मीटर ऊपर उठा दिए गए हैं।
केरल में लगातार हो रही बारिश के कारण बुधवार को कोट्टायम जिले के शैक्षणिक संस्थानों में छुट्टी का ऐलान कर दिया गया।
मौसम विभाग के अनुसार, अगले कुछ घंटों में कोल्लम, पथनमथिट्टा, कोट्टायम, इडुक्की, एर्नाकुलम और त्रिशूर जिलों में 40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चलने और मध्यम से तेज बारिश होने की संभावना है।
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने चेतावनी दी है कि प्रमुख सड़कों पर जलभराव और खराब दृश्यता होने के कारण यातायात बाधित हो सकता है। उसने यातायात का समुचित प्रबंधन करने और लोगों की अनावश्यक आवाजाही को प्रतिबंधित करने का सुझाव दिया।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)