नयी दिल्ली, 22 जुलाई केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सोमवार को कहा कि राहुल गांधी और उनका गुट ‘घड़ियाली आंसू बहा रहे’ हैं, और पूर्ववर्ती संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार और उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव की सरकार के दौरान के प्रश्नपत्र लीक से जुड़ी जमीनी हकीकत दोनों की मुश्किलें बढ़ा देगी।
लोकसभा में राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी) विवाद को लेकर सोमवार को विपक्ष के निशाने पर रहने के बाद शिक्षा मंत्री ने यह बयान दिया।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने संसद में प्रश्नपत्र लीक के मुद्दे पर सरकार पर विपक्ष के हमले का नेतृत्व करते हुए कहा कि देश की परीक्षा प्रणाली में एक बहुत गंभीर समस्या है और प्रधान ने इसके लिए खुद को छोड़कर सभी को दोषी ठहराया है।
इस पर पलटवार करते हुए प्रधान ने सवाल किया कि कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार जब सत्ता में थी, तो वह अनुचित आचरण निषेध विधेयक, 2010 सहित शैक्षणिक संस्थानों में कदाचार रोकने वाले विधेयकों को लागू करने में क्यों ‘विफल’ रही।
प्रधान ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में लिखा, ‘‘नेता प्रतिपक्ष और उनका गुट घड़ियाली आंसू बहा रहे हैं। पूर्ववर्ती संप्रग सरकार और उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव की सरकार के दौरान प्रश्नपत्र लीक की जमीनी हकीकत राहुल गांधी और अखिलेश यादव, दोनों के लिए मुश्किलें बढ़ा देगी।
उन्होंने कहा कि शायद राहुल गांधी अनुचित व्यवहार की बुनियादी बातों और गणित को बहुत अच्छी तरह से समझते हैं और इससे पता चलता है कि कांग्रेस सरकार अनुचित आचरण निषेध विधेयक-2010 सहित शैक्षणिक संस्थानों में कदाचार को रोकने के विधेयकों को लागू करने में क्यों विफल रही।
उन्होंने कहा कि क्या नेता प्रतिपक्ष बता सकते हैं कि कांग्रेस पार्टी ने किस मजबूरी, दबाव और किन कारणों से अनियमितताओं पर अंकुश लगाने के लिए कानून लाने से इनकार कर दिया?
मंत्री ने यह भी कहा कि पिछले सात वर्षों में प्रश्नपत्र लीक का कोई साक्ष्य नहीं मिला है।
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