देश की खबरें | पंजाब, पश्चिम बंगाल में बीएसएफ को और शक्तियां दिया जाना संघीय ढांचे पर हमला: कांग्रेस

नयी दिल्ली, 14 अक्टूबर कांग्रेस ने पंजाब, पश्चिम बंगाल और असम में सीमा सुरक्षा बल (बीएसफ) को अंतरराष्ट्रीय सीमा से मौजूदा 15 किलोमीटर की जगह 50 किलोमीटर के बड़े क्षेत्र में तलाशी लेने, जब्ती करने और गिरफ्तार करने का अधिकार दिए जाने को देश के संघीय ढांचे पर बृहस्पतिवार को हमला करार दिया और कहा कि यह चुनी हुई सरकारों के अधिकारों को खत्म करने का एक ‘घिनौना प्रयास’ है।

पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मोदी सरकार ने एक बार फिर देश के संघीय ढांचे पर हमला किया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक बार फिर देश में चुनी हुई सरकारों के अधिकारों को खत्म करने का घिनौना प्रयास किया है। इस निर्णय से मोदी जी ने एक बार फिर ये दिखाया है कि इस देश में अब तानाशाही का शासन चलेगा।’’

उन्होंने सवाल किया, ‘‘क्या कारण है कि पंजाब जैसे राज्य में आप आधे इलाके 50,000 किलोमीटर में से 25,000 किलोमीटर में पंजाब की सरकार के अधिकार, वहां की पुलिस के अधिकार छीन लेते हैं, आप पंजाब के मुख्यमंत्री से बात ही नहीं करते? क्या इस देश में लोकतंत्र, प्रजातंत्र, संघीय ढांचा ऐसे चलेगा?’’

उन्होंने दावा किया, ‘‘मोदी सरकार और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का पंजाब में राजनीतिक अस्तित्व खत्म हो चुका है, इसलिए उस खत्म हुए राजनीतिक अस्तित्व को तलाशने के लिए कांग्रेस की चुनी हुई सरकार के अधिकारों पर हमला बोला जा रहा है।’’

सुरजेवाला ने कहा, ‘‘नौ जून, 2021 को 25,000 किलोग्राम हेरोइन अडानी मुंद्रा बंदरगाह से लाई जाती है, लेकिन कोई पकड़ता नहीं है। फिर 13 सितंबर को तीन हजार किलोग्राम मादक पदार्थ जब्त किये जाते है। वहां तो दायरा 80 किलोमीटर का था, तो पहले मादक पदार्थ क्यों नहीं जब्त किये गये?’’

कांग्रेस महासचिव ने यह सवाल भी किया, ‘‘73 साल से ये 15 किलोमीटर का क्षेत्र बीएसएफ के अधिकार क्षेत्र में चल रहा है। 73 साल में तो कुछ गलत हुआ नहीं, तो आज क्या हो गया?’’

केंद्र सरकार ने बीएसएफ कानून में संशोधन कर इसे पंजाब, पश्चिम बंगाल और असम में अंतरराष्ट्रीय सीमा से मौजूदा 15 किलोमीटर की जगह 50 किलोमीटर के बड़े क्षेत्र में तलाशी लेने, जब्ती करने और गिरफ्तार करने की शक्ति दे दी है।

वहीं, पाकिस्तान की सीमा से लगते गुजरात के क्षेत्रों में यह दायरा 80 किलोमीटर से घटाकर 50 किलोमीटर कर दिया गया है तथा राजस्थान में 50 किलोमीटर तक की क्षेत्र सीमा में कोई बदलाव नहीं किया गया है।

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस संबंध में 11 अक्टूबर को अधिसूचना जारी की थी।

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