नयी दिल्ली, 12 अप्रैल देश में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के संक्रमण के 909 नये मामले सामने आए हैं और इस दौरान 34 लोगों की मौत हुई है। इसके साथ ही देश में कोरोना वायरस से संक्रमण के मामले रविवार को बढ़कर 8356 हो गये जबकि इससे हुयी मौत का आंकड़ा 273 पर पहुंच गया है।
स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने नियमित संवाददाता सम्मेलन में बताया कि अब तक संक्रमित मरीजों में से 716 को इलाज के बाद स्वस्थ होने पर अस्पताल से छुट्टी दे दी गयी है। इनमें से 74 मरीज पिछले एक दिन में स्वस्थ हुये हैं।
अग्रवाल ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय देश में कोविड-19 के परीक्षण की क्षमता को लगातार बढ़ाने की जरूरत पर बल दे रहा है, जिससे कोरोना वायरस के संक्रमण को खत्म करने के लिये यथाशीघ्र अंतिम संक्रमित व्यक्ति तक पहुंचना संभव हो सके। उन्होंने बताया कि परीक्षण को बढ़ाने के लिये सरकार ने मानसिक चिकित्सा से जुड़े 14 अग्रणी संस्थानों को चिन्हित कर देश के सभी मेडिकल कालेजों को उन तरीकों से अवगत कराने को कहा है जिससे लोग बीमारी को छुपाने के बजाय अधिक से अधिक संख्या में परीक्षण के लिये अस्पतालों तक जायें। मेडिकल कालेजों को परीक्षण क्षमता को बढ़ावा देने के उपाय सुझाने के लिये चिन्हित किये गये संस्थानों में दिल्ली स्थित एम्स और निमहांस सहित 14 संस्थान शामिल हैं।
उन्होंने कहा कि अगर संक्रमण के मामलों में अचानक तेजी आ गयी तब भी किसी भी तरह की स्थिति से निपटने के लिये सरकार जरूरत से कहीं ज्यादा सावधानी और सतर्कता बरतते हुये अतिरिक्त इंतजाम सुनिश्चित कर रही है। उन्होंने कहा कि जापान, चीन और दक्षिण कोरिया में संक्रमण के दोबारा उभरने के मद्देनजर सरकार भारत में अतिरिक्त सतर्कता बरतते हुये सभी जरूरी इंतजाम कर रही है।
अग्रवाल ने अमेरिका, इटली और फ्रांस सहित अन्य देशों की तुलना में कोरोना वायरस से संक्रमण की स्थिति भारत में नियंत्रित बताते हुये कहा कि देश में कुल मरीजों में 80 प्रतिशत से अधिक मरीज संक्रमण के सामान्य लक्षण वाले हैं। इलाज के इंतजामों को भी मांग की तुलना में पर्याप्त से अधिक बताते हुये उन्होंने कहा कि देश में कुल 1671 मरीज गंभीर श्रेणी में हैं और इनका सघन चिकित्सा केन्द्र (आईसीयू) में इलाज चल रहा है।
उन्होंने अतिरिक्त चिकित्सा इंतजामों का उदाहरण देते हुये बताया कि 12 अप्रैल को देश में कुल 8356 संक्रमित मरीजों में गंभीर या सामान्य से अधिक गंभीर श्रेणी के 20 प्रतिशत मरीजों, जिनकी संख्या 1671 है, की तुलना में देश के कुल 601 कोविड-19 अस्पतालों में 1,05,980 बिस्तरों की उपलब्धता है। अग्रवाल ने कहा कि कोरोना के मरीजों के लिये बिस्तरों की संख्या को और अधिक बढ़ाया जा रहा है।
इस दौरान गृह मंत्रालय की संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव ने बताया कि मंत्रालय ने संक्रमण से सर्वाधिक प्रभावित इलाकों में लोगों को घर पर ही आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिये राज्य सरकारों के साथ मिलकर उपाय किये हैं। साथ ही मंत्रालय ने सभी राज्य सरकारों को आवश्यक वस्तुओं की अंतररज्यीय स्तर पर एवं राज्य की सीमा में आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिये स्पष्टीकरण भेजा है कि लॉकडाउन के दौरान इस प्रकार की वस्तुओं की आवाजाही पर कोई रोक नहीं है।
उन्होंने बताया कि इन दिनों लोगों के अपने कार्यालय के काम घर से ही करने, ऑनलाइन खरीदारी, और भुगतान में इजाफे के कारण साइबर अपराधों के बढ़ने की आशंका को देखते हुये मंत्रालय ने एहतियाती उपाय किये हैं। श्रीवास्तव ने कहा कि इसके लिये ‘साइबर दोस्त’ ट्विटर हैंडल के माध्यम से लोगों को साइबर सुरक्षा के उपाय बता रहे हैं।
संवाददाता सम्मेलन में भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के मनोज मुरहेकर ने बताया कि देश में अब तक कोरोना वायरस से संक्रमण की जांच के लिये 1,86,906 परीक्षण किये जा चुके हैं। इनमें 8356 मामलों में संक्रमण की पुष्टि हुयी है।
उन्होंने परीक्षण के अब तक के विश्लेषण के आधार पर बताया कि पिछले पांच दिनों में प्रतिदिन औसतन 15,747 परीक्षण किये गये । संवाददाता सम्मेलन में सरकार के प्रवक्ता के एस धतवालिया ने बताया कि देश में वायरल रोधी दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन की देश में पर्याप्त उपलब्धता का आंकलन करने के बाद मंत्री समूह ने 13 देशों को इस दवा के निर्यात की मंजूरी दे दी है।
कोरोना वायरस का टीका विकसित करने के प्रयास के सवाल पर मुरहेकर ने बताया कि 40 से अधिक लोग अपने अपने स्तर पर टीका विकसित करने के प्रयास कर रहे हैं। लेकिन इनमें से कोई अब तक अगले चरण में नहीं पहुंच पाया है।
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