नयी दिल्ली, 19 दिसंबर चालू वित्त वर्ष (2024-25) के पहले सात माह (अप्रैल-अक्टूबर) में कोयला आधारित बिजली उत्पादन में 3.87 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। सरकार ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
कोयला मंत्रालय ने बयान में कहा, “अप्रैल, 2024 से अक्टूबर, 2024 तक कोयला आधारित बिजली उत्पादन में पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 3.87 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।”
मंत्रालय ने आगे कहा कि इसी अवधि के दौरान ताप विद्युत संयंत्रों द्वारा मिश्रण के लिए आयात में 19.5 प्रतिशत की गिरावट आई।
यह गिरावट कोयला उत्पादन में आत्मनिर्भरता हासिल करने और आयात पर निर्भरता कम करने की देश की प्रतिबद्धता पर जोर देती है।
मंत्रालय ने कहा, “बिजली क्षेत्र के लिए कोयले के आयात में वृद्धि का श्रेय आयातित कोयला आधारित विद्युत संयंत्रों (केवल आयातित कोयले का उपयोग करने के लिए डिजायन) द्वारा कोयले के आयात को दिया जाता है। इस अवधि के दौरान तीन करोड़ टन कोयले का आयात हुआ, जो पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि के 2.17 करोड़ टन से 38.4 प्रतिशत अधिक है।”
चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-अक्टूबर अवधि के दौरान कोयले का आयात 3.1 प्रतिशत घटकर 14.93 करोड़ टन रह गया, जो पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि में 15.41 करोड़ टन था।
बयान में कहा गया, “इसके अतिरिक्त, गैर-विनियमित क्षेत्र (बिजली के अलावा) में अप्रैल-अक्टूबर के दौरान पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 8.8 प्रतिशत की गिरावट देखी गई।”
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