इस्लामाबाद: जम्मू एवं कश्मीर का विशेष राज्य का दर्जा समाप्त किए जाने के बाद बौखलाए पाकिस्तान के राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने मंगलवार को संसद का संयुक्त सत्र बुलाया. इसमें देश के प्रधानमंत्री इमरान खान और तमाम नेताओं के अलावा सशस्त्र बलों के प्रमुखों को भी शामिल होने को कहा गया था. लेकिन इमरान खान इतना गंभीर मुद्दा होने के बाद भी नहीं आए. जिसके कारण विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया. इमरान खान के नहीं आने के कारण स्पीकर के अपने कक्ष में जाने से पहले ही सत्र की कार्यवाही रुक गई.
विपक्ष के नेताओं के अलावा पाकिस्तान थल सेनाध्यक्ष जनरल कमर जावेद बाजवा, वायु सेना प्रमुख एयर मार्शल मुजाहिद अनवर खान, नौसेना स्टाफ के प्रमुख एडमिरल जफर महमूद अब्बासी और संयुक्त कर्मचारी समिति के अध्यक्ष जनरल जुबैर महमूद हयात विशेष संसद सत्र में मौजूद रहे.
Ruckus in Parliament of Pakistan as the Opposition objects to Prime Minister Imran Khan's absence from the joint session to hold a discussion on Kashmir. Session proceedings stopped even before starting as the Speaker left for his chamber. pic.twitter.com/eZrQfzvUM1
— ANI (@ANI) August 6, 2019
पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक इस दौरान भारत सरकार द्वारा लिए गए निर्णय के बाद की स्थिति और आगे उठाए जाने वाले कदमों पर चर्चा की गई. हालांकि पाकिस्तान ने पहले ही कहा कि वह इस मुद्दे को देश में दौरे पर आ रहे अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के साथ और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के साथ बैठकों के दौरान उठाएगा.
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इससे पहले इमरान खान ने भारत द्वारा अनुच्छेद 370 को हटाने के प्रस्ताव को अवैध कदम करार दिया और कहा कि इससे क्षेत्रीय शांति व सुरक्षा समाप्त हो जाएगी. इसके अलावा उन्होंने अपने मलेशियाई समकक्ष महाथिर बिन मोहम्मद के साथ इस मुद्दे पर बातचीत की और संयुक्त राष्ट्र संकल्पों का उल्लंघन बताया.