ऑर्गेज्म क्या होता है, कैसे पहुंचा जाए चरम सुख तक, जानें इसके फायदे
ऐसे बहुत से लोग है जो डेली लाइफ में सेक्स तो करते हैं लेकिन उन्हें ऑर्गेज्म के बारे में नहीं पता होता है. आम बोल चाल की भाषा में कहें तो ओर्गेज्म का मतलब हैं 'चरम सुख' या 'चरम आनंद' सेक्स करते समय जब यौन उत्तेजना चरम पर पहुंच जाती है तो उस स्थिति को चरम सुख (Orgasm) कहा जाता है. इस दौरान जननांगों के आसपास के मांसपेशियों में तेजी से संकुचन होता है जिसके कारण योनि से तरल पदार्थ का स्राव होता है ऑर्गेज्म सेक्स का अंतिम चरण है और ऑर्गेज्म तक पहुंचने प्राप्त के बाद ही सेक्स का पूरा आनंद एवं संतुष्टि मिलती है
ऐसे बहुत से लोग है जो डेली लाइफ में सेक्स तो करते हैं लेकिन उन्हें ऑर्गेज्म के बारे में नहीं पता होता है. आम बोल चाल की भाषा में कहें तो ओर्गेज्म का मतलब हैं 'चरम सुख' या 'चरम आनंद' सेक्स करते समय जब यौन उत्तेजना चरम पर पहुंच जाती है तो उस स्थिति को चरम सुख (Orgasm) कहा जाता है. इस दौरान जननांगों के आसपास के मांसपेशियों में तेजी से संकुचन होता है जिसके कारण योनि से तरल पदार्थ का स्राव होता है ऑर्गेज्म सेक्स का अंतिम चरण है और ऑर्गेज्म तक पहुंचने प्राप्त के बाद ही सेक्स का पूरा आनंद एवं संतुष्टि मिलती है. एक स्टडी में पाया गया है कि लगभग 11 से 41 प्रतिशत महिलाएं ही सेक्स और मस्टरबेशन से ऑर्गेज्म तक पहुंच पाती हैं. सभी महिलाओं को सेक्स के दौरान चरम सुख नहीं मिल पाता है. आइए हम आपको बताते हैं कैसे लिया जा सकता है चरम सुख का आनंद.
चरम सुखा तक पहुंचने के लिए महिलाओं को अपने पार्टनर के साथ ज्यादा देर तक फोरप्ले करना चाहिए. ऑर्गेज्म तक पहुंचने का ये बहुत आसान तरीका है.
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चरम सुख प्राप्त करने के लिए महिलाओं को अपने खान पान का भी ख्याल रखना चाहिए. उन्हें अपने खाने में यौन उत्तेजना बढ़ाने वाली चीजें शामिल करनी चाहिए.
चरम सुख तक पहुंचने के लिए महिलाओं की योनि के क्लिटोरिस (Clitoris) की अहम भूमिका होती है इसलिए अपने पार्टनर को अलग-अलग तरह से क्लिटोरिस को छूने के लिए कहें.
कामोत्तेजक कपड़े और अच्छे मूड में ऑर्गेज्म का आनंद लिया जा सकता है. सेक्स के दौरान अपने पार्टनर से कामोत्तेजक बातें भी कर सकते हैं.
ऑर्गेज्म के फायदे
दिल के लिए लाभदायक: सेक्स एक्सपर्ट्स का कहना है कि ओर्गेज्म के दौरान आपकी हृदयगति बढ़ जाती है, आपका ब्लड प्रेशर बढ़ जाता है और आपकी सांसें भी तेज हो जाती है.
ऐसा दौड़ने के दौरान भी होता है. इसलिए दिल के लिए इससे ज्यादा सुखद व्यायाम और कोई नहीं हो सकता.
डिप्रेशन से दूर होती है: अगर आप डिप्रेशन से गुजर रहे हैं तो आपको ओर्गेज्म की सख्त जरुरत है. इस दौरान एंडोर्फिन्स के अलावा डोपामाइन और ऑक्सीटोसिन भी पैदा होती है. इन तीनों हार्मोन्स के असर से डिप्रेशन दूर हो जाता है.
अच्छी नींद आती है: चरम सुख तक पहुंचने के बाद शरीर आलसी हो जाता है और अच्छी नींद आती है.
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चरम सुख तक पहुंचना न सिर्फ दिल की कसरत कराता है बल्कि दिमाग को भी स्वस्थ रखता है. इस दौरान मस्तिष्क में पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन पहुंचती है. जिसकी वजह से मस्तिष्क स्वस्थ रहता है.