रहस्यमय कोविड-19 का कहर आज तीन माह बाद भी बेलगाम बढ़ रहा है. संपूर्ण विश्व में कोरोनावायरस के संक्रमणसे मृतकों की निरंतर बढ़ती संख्या के कारण लोग दहशत में हैं. अभी तक इस खतरनाक वायरस पर नियंत्रण के लिए कोईदवा अथवा वैक्सीन उपलब्ध नहीं हो सका है. लिहाजा विश्व स्वास्थ्य संगठन अभी भी कोविड-19 से बचाव के लिए मात्र सोशलडिस्टेंसिंग और इम्यून सिस्टम यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता को सशक्त बनाने का सुझाव दे रहा है. इम्यून सिस्टम को सशक्तबनाने के लिए तमाम साधनों में एक साधन योगा भी है.
आज 21 जून विश्व योग दिवस पर इम्यून सिस्टम मजबूत बनाने के लिएयोग गुरु रामेदव भी लोगों को इम्यून सिस्टम के लिए योगा के कुछ आसन करने का सुझाव दे रहे हैं. आइये जानें रोग प्रतिरोधक क्षमता बनाये रखने के लिए किन-किन आसनों का इस्तेमाल करना चाहिए. यह भी पढ़े: International Day of Yoga 2020: स्वस्थ और निरोगी शरीर के लिए योगा है बेहद जरूरी, जानें 21 जून को ही क्यों मनाया जाता है योग दिवस
* सूर्य नमस्कार
रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए सूर्य नमस्कार सबसे ज्यादा लाभकारी आसन माना जाता है. शुरुआती चरण में चार सेपांच बार सूर्य नमस्कार करना चाहिए. धीरे-धीरे इसकी बारंबारता (फ्रिक्वेंसी) बढ़ाई जा सकती है. लेकिन सूर्य नमस्कार करतेसमय श्वसन प्रक्रिया पर जरूर ध्यान दें. यह आसन करने से सूर्य से ऊर्जा प्राप्त होती है, इसी वजह से शरीर की इम्युनिटी बढ़ती है.
* शशांकासन
यूं तो यह आसन मानसिक तनावों को दूर करने का रामबाण इलाज माना जाता है. और चिकित्सक भी मानते हैं कि तनाव मुक्तरहने से रोग प्रतिरोधक शक्ति में वृद्धि होती है.
* भुजंगासन
भुजंगासन भी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढाने में अहम भूमिका निभाता है. वास्तव में भुजंगासन भी सूर्य नमस्कार के विभिन्न आसनों का ही एक हिस्सा होता है.
* त्रिकोणासन
इस आसन को त्रिभुज मुद्रा भी कहते हैं. इम्यून सिस्टम बढ़ाने के लिए यह आसन भी बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है. त्रिकोणासन पाचन क्रिया को सुचारु करता है. लेकिन अगर इस आसन को नियमित किया जाये तो इससे इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाया
जा सकता है.
* शवासन
रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए मानसिक शांति बहुत जरूरी होता है, और मानसिक शांति के लिए शवासन सर्वश्रेष्ठ आसनमाना जाता है. चूंकि यह सबसे आसान आसन होता है इसलिए इसे दिन में चार-पांच बार किया जा सकता है.
* ताड़ासन
रोग प्रतिरोधक शक्ति बढ़ाने के लिए बेहतर योगासन ताड़ासन को ही माना जाता है. इसे माउंटेन मुद्रा भी कहा जाता है. इसे कहींभी और किसी भी समय किया जा सकता है.
* पादंगुष्ठासन
पादंगुष्ठासन भी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है. इस आसन को बिग टो पोज भी कहते हैं. पादंगुष्ठासन मांसपेशियों को भीतर से शक्तिशाली बनाता है. योग गुरु रामदेव के अनुसार यह कठिन और जोखिम भरा आसन है, इसलिए किसी जानकार के निरीक्षण में ही यह आसन करना चाहिए.