Shab-e-Qadr Mubarak 2024 Wishes: शब-ए-कद्र के इन शानदार HD Images, WhatsApp Stickers, GIF Greetings, Wallpapers को भेजकर अपनों को दें मुबारकबाद
ऐसी मान्यता है कि शब-ए-कद्र की रात को ही पवित्र कुरआन शरीफ नाजिल हुआ था. इस रात अल्लाह की इबादत करने वालों के अल्लाह सारे गुनाह माफ करते हुए उनकी जायज तमन्नाओं को पूरी करते हैं. शब-ए-कद्र की रात आप इन शानदार विशेज, एचडी इमेजेस, वॉट्सऐप स्टिकर्स, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, वॉलपेपर्स को भेजकर अपनों को मुबारकबाद दे सकते हैं.
Shab-e-Qadr Mubarak 2024 Wishes in Hindi: रमजान (Ramzan) के मुकद्दस महीने में एक ऐसी रात भी आती है, जिसे इबादत के लिए हजारों रातों से बेहतर माना जाता है. कहा जाता है शब-ए-कद्र की रात की गई इबादत कुबूल होती है, अल्लाह अपने बंदों के सारे गुनाह माफ करते हैं और उन पर रहमतों की बरसात होती है. शब-ए-कद्र (Shab-e-Qadr) यानी लैलतुल-कद्र (Laylatul Qadr) की रात इस्लाम धर्म की सबसे पवित्र रातों में से एक है, लेकिन इसकी कोई निश्चित तारीख नहीं है. इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार, रमजान महीने के आखिरी दस दिनों की विषम संख्या वाली रातों 21वीं, 23वीं, 25वीं, 27वीं और 29वीं रातों में से एक शब-ए-कद्र की रात होती है. इस्लामिक मान्यताओं के अनुसार, इस रात अल्लाह अपने बंदों के लिए रहमतों के दरवाजे खोल देते हैं और रोजेदारों की हर दुआ कुबूल करते हुए उनके गुनाहों को माफ करते हैं.
शब-ए-कद्र (Shab-e-Qadr Mubarak) की फजीलत हासिल करने के लिए मुसलमान इन सारी रातों में रातभर अल्लाह की इबादत करते हैं. ऐसी मान्यता है कि शब-ए-कद्र की रात को ही पवित्र कुरआन शरीफ नाजिल हुआ था. इस रात अल्लाह की इबादत करने वालों के अल्लाह सारे गुनाह माफ करते हुए उनकी जायज तमन्नाओं को पूरी करते हैं. शब-ए-कद्र की रात आप इन शानदार विशेज, एचडी इमेजेस, वॉट्सऐप स्टिकर्स, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, वॉलपेपर्स को भेजकर अपनों को मुबारकबाद दे सकते हैं.
1- अल्लाह आप सभी को हमेशा खुश रखें और अपनी पनाह में रखें आमीन!
शब-ए-कद्र मुबारक
2- शब-ए-कद्र की रात मुबारक!
3- लैलतुल-कद्र मुबारक
4- आपकी जिंदगी रमजान के महीने की तरह नेकियों से भरी रहे.
शब-ए-कद्र मुबारक
5- शब-ए-कद्र के मौके पर अल्लाह आपको
अपनी बेहतरीन नेमतों से नवाजे
बहरहाल, परंपरागत रूप से दुनियाभर के मुसलमान 27वीं रात को शब-ए-कद्र के रूप में मनाते हैं, जिसे काफी महत्वपूर्ण माना जाता है. शब-ए-कद्र की रात की जाने वाली इबादत को हजार महीनों की इबादत से बढ़कर बताया गया है. शब-ए-कद्र को पूरी रात मुस्लिम समुदाय के लोग मुख्तलिफ इबादतें करते हैं, जिनमें निफिल नमाजें अदा करना, तसबीह पढ़ना और कुरआन पढ़ना इत्यादि शामिल हैं. कहा जाता है कि खुद अल्लाह ने बताया था कि शब-ए-कद्र रमजान के आखिरी अशरे यानी दस दिन की ताक (विषम संख्या) रातों में से एक है.