Constitution Day 2022 Messages: हैप्पी संविधान दिवस! शेयर करें ये हिंदी Quotes, GIF Greetings, WhatsApp wishes और Images
संविधान दिवस हमें न सिर्फ स्वतंत्र भारत का नागरिक होने की अहसास दिलाता है, बल्कि हमें हमारे मौलिक अधिकारों के प्रति जागरूक भी कराता है. इसके साथ ही यह हमें नागरिक के तौर पर अपनी जिम्मेदारियों की भी याद दिलाता है. ऐसे में इस खास अवसर पर आप इन हिंदी मैसेजेस, कोट्स, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, वॉट्सऐप विशेज और इमेजेस को भेजकर अपनों को हैप्पी संविधान दिवस कह सकते हैं.
Constitution Day 2022 Messages In Hindi: हर साल 26 नवंबर को देश का हर एक नागरिक संविधान दिवस (Constitution Day) मनाता है, जो भारत के संविधान को अपनाने की याद दिलाता है. संविधान दिवस को राष्ट्रीय कानून दिवस (National Law Day) भी कहा जाता है, जो हर हिंदुस्तानी के लिए बेहद खास दिन है. दरअसल, 26 नवंबर 1949 को संविधान (Constitution) को अपनाया गया था और इसे 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया था. साल 2015 में केंद्रीय सामाजिक न्याय मंत्रालय ने भारतीय संविधान के रचयिता डॉ. बाबा साहेब आंबेडकर (Dr, Babasaheb Ambedkar) की 125वीं जयंती के अवसर पर 26 नवंबर को संविधान दिवस मनाने का फैसला किया था, तब से हर साल इस दिवस को 26 नवंबर के दिन मनाया जाता है.
संविधान दिवस हमें न सिर्फ स्वतंत्र भारत का नागरिक होने की अहसास दिलाता है, बल्कि हमें हमारे मौलिक अधिकारों के प्रति जागरूक भी कराता है. इसके साथ ही यह हमें नागरिक के तौर पर अपनी जिम्मेदारियों की भी याद दिलाता है. ऐसे में इस खास अवसर पर आप इन हिंदी मैसेजेस, कोट्स, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, वॉट्सऐप विशेज और इमेजेस को भेजकर अपनों को हैप्पी संविधान दिवस कह सकते हैं.
1- भलाई का जिसमें है विधान,
वही है भारतीय संविधान.
हैप्पी संविधान दिवस
2- संविधान देता है समानता का अधिकार,
अब इंसान नहीं कर सकता है इंसान का तिरस्कार.
हैप्पी संविधान दिवस
3- भारतीय संविधान बाहर से संघात्मक है,
लेकिन उसकी आत्मा एकात्मक है.
संविधान वो मार्गदर्शक है,
जिसे मैं कभी नहीं छोडूंगा.
हैप्पी संविधान दिवस
4- विश्व के सबसे बड़े संविधान का खिताब हमने पाया है,
पूरे विश्व में लोकतंत्र का डंका हमने बजाया है.
हैप्पी संविधान दिवस
5- हम गणतंत्र भारत के निवासी, करते अपनी मनमानी,
दुनिया की कोई फिक्र नहीं, संविधान है करता पहरेदारी.
हैप्पी संविधान दिवस
गौरतलब है कि भारत के पहले कानून मंत्री डॉ. बाबा साहेब आंबेडकर को साल 1947 में संविधान मसौदा समिति के अध्यक्ष के तौर पर नियुक्त किया गया था और उन्हें देश का नया संविधान तैयार करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. भारत एक विविधताओं का देश है, क्योंकि यहां कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक सैकडों भाषाएं, बोली, पहनावे और खान-पान के साथ कई विविधिताएं देखने को मिलती हैं. ऐसे में संविधान ही वह एक कड़ी है जो हर हिंदुस्तानी को एक साथ पिरोती है. हमारे देश का संविधान देश के प्रत्येक नागरिक को एक समान अधिकार प्रदान करता है.