Ambedkar Jayanti 2021 Quotes: डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर जयंती पर WhatsApp, Facebook, Twitter, Instagram के जरिए प्रियजनों संग शेयर करें उनके ये महान विचार
डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर जितने महान राजनेता थे, उनके विचार भी उतने ही महान थे. खास बात तो यह है कि उनके महान विचार आज भी लोगों के लिए प्रेरणास्रोत का काम करते हैं और जीवन में आगे बढ़ने की प्रेरणा देते हैं. आंबेडकर जयंती पर आप उनके महान विचारों को WhatsApp, Facebook, Twitter, Instagram के जरिए प्रियजनों के साथ शेयर कर सकते हैं.
Ambedkar Jayanti 2021 Quotes in Hindi: हर साल 14 अप्रैल को भारतीय संविधान (Indian Constitution) के रचयिता डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर की जयंती (Dr. Babasaheb Ambedkar Jayanti) धूमधाम से मनाई जाती है. डॉ. भीमराव रामजी आंबेडकर (Dr. Bhimrao Ramji Ambedkar) का जन्म 14 अप्रैल 1891 को मध्य प्रदेश के महू में एक मराठी परिवार में हुआ था. उनके पिता का नाम रामजी मालोजी सकपाल और माता का नाम भीमाबाई था. दलित परिवार में जन्म लेने के कारण उन्हें बचपन से ही कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा. आंबेडकर ने समाज में फैले छुआछूत, जातिवाद और भेदभाव जैसी कुरीतियों के खिलाफ लड़ाई में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया. भारतीय संविधान के पिता डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर आजादी के बाद देश के पहले कानून और न्याय मंत्री बने. इस साल डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर की 130वीं जयंती मनाई जा रही है.
डॉ. आंबेडकर अपने जमाने के एक ऐसे राजनेता थे, जो सामाजिक कार्यों में बहुत ज्यादा व्यस्त रहते थे, बावजूद इसके पढ़ने-लिखने के लिए वो समय निकाल ही लेते थे. वे जितने महान राजनेता थे, उनके विचार भी उतने ही महान थे. खास बात तो यह है कि उनके महान विचार आज भी लोगों के लिए प्रेरणास्रोत का काम करते हैं. आंबेडकर जयंती पर आप उनके महान विचारों को WhatsApp, Facebook, Twitter, Instagram के जरिए प्रियजनों के साथ शेयर कर सकते हैं.
1- मैं ऐसे धर्म को मानता हूं जो स्वतंत्रता, समानता और भाईचारा सिखाए.
2- अगर मुझे लगा कि संविधान का दुरुपयोग किया जा रहा है तो इसे सबसे पहले मैं जलाऊंगा.
3- आदि से अंत तक हम सिर्फ एक भारतीय हैं.
4- ज्ञान हर व्यक्ति के जीवन का आधार है.
5- मैं एक समुदाय की प्रगति को उस प्रगति की डिग्री से मापता हूं जो महिलाओं ने हासिल की है.
6- संविधान केवल वकीलों का दस्तावेज नहीं है, बल्कि यह जीवन का एक माध्यम है.
7- यदि हम आधुनिक विकसित भारत चाहते हैं तो सभी धर्मों को एक होना पड़ेगा.
8- देश के विकास से पहले अपनी बुद्धि के विकास की आवश्यकता है.
गौरतलब है कि संविधान के रचयिता डॉ. भीमराव आंबेडकर की जयंती के दिन सार्वजनिक अवकाश घोषित किया गया है. उन्होंने देश की आजादी से लेकर कानूनी संरचना को विकसित करने तक में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. ऐसे में उनकी जयंती पर लोग उनके द्वारा किए गए महान कार्यों को याद करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं. इस दिन को ज्ञान दिवस और समानता दिवस के तौर पर भी मनाया जाता है.