दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 5 जनवरी को कोच्चि-मंगलुरु गैस पाइपलाइन करेंगे समर्पित
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को कोच्चि-मंगलुरु प्राकृतिक गैस पाइपलाइन राष्ट्र को समर्पित करेंगे. एक राष्ट्र, एक गैस ग्रिड के निर्माण की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा. स्वच्छ ईंधन की खपत से वायु प्रदूषण पर अंकुश लगाकर वायु गुणवत्ता में सुधार लाने में मदद मिलेगी.
नई दिल्ली, 4 जनवरी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) मंगलवार को कोच्चि-मंगलुरु प्राकृतिक गैस पाइपलाइन राष्ट्र को समर्पित करेंगे. एक राष्ट्र, एक गैस ग्रिड के निर्माण की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा. प्रधानमंत्री पूर्वाह्न 11 बजे पर पाइप लाइन का उद्घाटन वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए करेंगे. इस अवसर पर कर्नाटक के राज्यपाल वजुभाई वाला, मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा (BS Yeddyurappa), केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान और केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के साथ केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री धर्मेद्र प्रधान (Dharmendra Pradhan) भी मौजूद रहेंगे.
450 किलोमीटर की इस पाइपलाइन का निर्माण गेल (इंडिया) लिमिटेड ने किया है. इसकी परिवहन क्षमता 1.20 लाख मीट्रिक मानक घन मीटर प्रतिदिन है और यह कोच्चि (केरल) में लिक्विफाइड नेचुरल गैस (एलएनजी) रीगैसिफिकेशन टर्मिनल से मंगलुरु (दक्षिणा कन्नड़ जिला, कर्नाटक) तक प्राकृतिक गैस ले जाएगा, जबकि एर्नाकुलम, त्रिशूर, पलक्कड़, मलप्पुरम, कोझिकोड, कन्नूर और कासरगोड जिलों से होक गुजरेगा.
परियोजना की कुल लागत लगभग 3,000 करोड़ रुपये थी और इसके निर्माण ने 12 लाख से अधिक मानव-दिवसीय रोजगार पैदा किया. पाइपलाइन बिछाना एक इंजीनियरिंग चुनौती थी क्योंकि पाइपलाइन के मार्ग के कारण 100 से अधिक स्थानों पर जल निकायों को पार करना आवश्यक था. यह क्षैतिज दिशात्मक ड्रिलिंग विधि नामक एक विशेष तकनीक के माध्यम से किया गया था.
यह पाइपलाइन घरों को पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) के रूप में पर्यावरण के अनुकूल और किफायती ईंधन की आपूर्ति करेगी और परिवहन क्षेत्र को संकुचित प्राकृतिक गैस (सीएनजी) देगी. यह पाइपलाइन के साथ-साथ जिलों में वाणिज्यिक और औद्योगिक इकाइयों को प्राकृतिक गैस की आपूर्ति भी करेगा. स्वच्छ ईंधन की खपत से वायु प्रदूषण पर अंकुश लगाकर वायु गुणवत्ता में सुधार लाने में मदद मिलेगी.