नई दिल्ली: देशभर में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 18 दिन के बाद बढ़ोतरी हुई है. तेल विपणन कंपनियों ने मंगलवार को पेट्रोल और डीजल के दाम में इजाफा किया है. जिसके बाद पेट्रोल दिल्ली में 15 पैसे और डीजल 16 पैसे प्रति लीटर बढ़ गया है. बीते 15 अप्रैल को पेट्रोल और डीजल के दाम में कटौती की गई थी. तब पेट्रोल दिल्ली में 16 पैसे, जबकि कोलकाता, मुंबई और चेन्नई में 15 पैसे प्रति लीटर सस्ता हो गया था. वहीं, डीजल का भाव दिल्ली और कोलकाता में 14 पैसे, जबकि मुंबई में 15 पैसे और चेन्नई में 13 पैसे प्रति लीटर घट गया था. विमान ईंधन 6.7 प्रतिशत महंगा; जल्द आ सकती है डीजल, पेट्रोल की भी बारी
इंडियन ऑयल की वेबसाइट के अनुसार, दिल्ली, कोलकाता, मुंबई और चेन्नई में मंगलवार को पेट्रोल के दाम बढ़ने के साथ क्रमश: 90.55 रुपये, 90.76 रुपये, 96.95 रुपये और 92.55 रुपये प्रति लीटर हो गए हैं. जबकि डीजल की कीमतें भी दिल्ली, कोलकाता, मुंबई और चेन्नई में क्रमश: 80.91 रुपये, 83.78 रुपये, 87.98 रुपये और 85.90 रुपये प्रति लीटर हो गई है.
इससे पहले 2021 में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 26 बार इजाफा हुआ था, इस साल अब तक दोनों ऑटो फ्यूल में 7.46 रुपये और 7.60 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी हुई है. हालांकि वैश्विक बाजार में कच्चे तेल के महंगा होने से डीजल और पेट्रोल के खुदरा भाव में इजाफे के कयास पहले से ही थे.
पेट्रोल और डीजल के खुदरा मूल्यों में क्रमश: 60 प्रतिशत और 54 प्रतिशत केंद्रीय व राज्य स्तरीय करों का होता है. भारत में कोविड19 की नयी लहर से पेट्रोलियम की मांग पर असर पड़ने की संभावनाओं के बावजूद अंतराष्ट्रीय बाजार में कच्चा तेल चढ़ रहा है. इसके पीछे अमेरिका की मजबूत मांग और डालर की कमजोरी बताया जा रहा है.
नीचे चार मेट्रो शहरों की नवीनतम पेट्रोल और डीजल की कीमतें बताई गई हैं-
शहर का नाम | पेट्रोल | डीजल |
दिल्ली | 90.55 | 80.91 |
मुंबई | 96.95 | 87.98 |
चेन्नई | 92.55 | 85.90 |
कोलकाता | 90.76 | 83.78 |
Source: Indian Oil |
उल्लेखनीय है कि एक मई को विमान ईंधन के मूल्य में 6.7 की एक बड़ी वृद्धि की गयी थी. सरकारी तेल विपणन कंपनियों ने दिल्ली में विमान ईंधन (एटीएफ) का भाव प्रति हजार लीटर 3,885 रुपये यानी 6.7 प्रतिशत बढ़ा कर 61,690.28 रुपये कर दिया. हालांकि विभिन्न राज्यों पेट्रोलियम पर बिक्री कर की दरों में भिन्नता के कारण वहां एटीएफ के भाव अलग अलग हो सकते हैं. इससे पहले कंपनियों ने दो बार एटीएफ के भाव घटाए थे. पहली अप्रैल को इसमें तीन प्रतिशत और 19 अप्रैल को एक प्रतिशत की कमी की गयी थी.