मध्य प्रदेश, 14 जनवरी: भोपाल (Bhopal) में 11 साल के मासूम सूर्यांश ने घर में फांसी (Suicide Case) लगा ली. बताया जा रहा है कि इस बच्चे को मोबाइल पर गेम (Online Game Addiction) खेलने की लत लग चुकी थी. फिलहाल पुलिस जांच में सूर्यांश के फ्री फायर गेम (Free fire Game) खेलने की आदत की बात सामने आई है. वहीं मध्य प्रदेश सरकार (Madya Pradesh Government) ने भी इस मामले पर संज्ञान लिया है. सावधान! बच्चे हो रहे गेमिंग डिसऑर्डर के शिकार, पेरेंट्स और टीचर इन बातों का रखें ख्याल- अप्रिय घटना तत्काल यहां करें दर्ज
भोपाल में बच्चे की आत्महत्या मामले को लेकर सरकार ने बड़ा निर्णय लिया है. गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा (Home Minister Narottam Mishra) ने कहा कि ऑनलाइन गेमिंग को लेकर जल्द ही एमपी में एक्ट लाया जाएगा. एक्ट का ड्राफ्ट लगभग तैयार हो चुका है, इसे प्रदेश में जल्द लागू किया जाएगा. नरोत्तम मिश्रा ने कहा "यह एक गंभीर मुद्दा है. ऐसी दुखद घटना को रोकने के लिए, हम मध्य प्रदेश में ऑनलाइन गेमिंग को नियंत्रित करने वाला एक अधिनियम ला रहे हैं."
बुधवार को 11 वर्षीय सूर्यांश ने अपने घर की छत पर लगे पंचिंग बैग की रस्सी से कथित तौर पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी. एडिशनल कमिश्नर सचिन अतुलकर ने कहा, "उसके माता-पिता के अनुसार, नाबालिग ने उनकी अनुमति के बिना एक ऑनलाइन गेम पर लगभग 6,000 रुपये खर्च कर दिए थे. सूर्यांश के माता-पिता ने एक बार ऐप को हटा दिया था. मामले की जांच जारी है.
गेम खेलने के चक्कर में ट्रेन से कटकर मौत
इससे पहले 8 जनवरी को राजस्थान के अलवर में दो सगे भाइयों की ट्रेन की चपेट में आने से मौत हो गई थी. दोनों भाई पटरी के बगल में चलते हुए फ्री फायर गेम खेल रहे थे. छोटे भाई राहुल को फ्री फायर खेलने की आदत थी. हादसे वाले दिन शनिवार को राहुल के साथ बड़ा भाई लोकेश भी गेम खेलते हुए पटरी के पास चला गया. दोनों खेल में इतने मशगूल हो गए कि उन्हें ट्रेन के आने का पता नहीं चला और हादसे में दोनों की जान चली गई.