बेंगलुरू, 17 मार्च : मंगलुरु अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे पर जनवरी 2020 में इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव बम लगाने के जुर्म में 20 साल कैद की सजा पाने वाला शख्स ऑनलाइन सर्विस प्रोवाइडर अमेजन से विस्फोटक तैयार करने के लिए कच्चा माल हासिल करने में कामयाब रहा था. जांच एजेंसियों ने आरोपी आदित्य राव (37) द्वारा ऑनलाइन विस्फोटक बनाने के लिए कच्चे माल की खरीद के बारे में अदालत को एक रिपोर्ट सौंपी है और 80 पन्नों के फैसले में अदालत ने उसी का उल्लेख किया है. उन्होंने पाया कि आरोपी ने पदार्थ को विस्फोट करने और मानव जीवन को खतरे में डालने के इरादे से एक रूपरेखा तैयार की थी और 'जस्ट डायल' कंपनी को कॉल करके तात्कालिक विस्फोटक पदार्थ तैयार करने के लिए जानकारी एकत्र की थी.
राव ने कई साइबर केंद्रों, ब्राउजिंग केंद्रों के साथ-साथ इंटरनेट केंद्रों का दौरा किया और जानकारी एकत्र की. जांच रिपोर्ट में कहा गया है कि इस तरह की जानकारी के संग्रह पर, उसने अमेजन वेबसाइट से विस्फोटकों के लिए आवश्यक कच्चे माल का ऑर्डर दिया था. बिना किसी लाइसेंस के कच्चा माल इकट्ठा करने के बाद आरोपियों ने चोरी-छिपे उन्हें मंगलुरु के एक फैमिली रेस्टोरेंट के स्टाफ क्वार्टर में रख दिया था. उसने बिना किसी प्राधिकरण की अनुमति के कच्चे माल को मिला दिया था और तात्कालिक विस्फोटक पदार्थ तैयार कर लिया था. इसके बाद उसने उस इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव पदार्थ को एक काले बैग में रखा था और मंगलुरु अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के प्रस्थान द्वार पर संवेदनशील और भीड़-भाड़ वाले इलाके में ले गया था.
वह इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव पदार्थ वाली ब्लैक बैक को एयरपोर्ट पर छोड़ कर वहां से फरार हो गया था. 2018 में, आरोपी ने बेंगलुरु हवाई अड्डे पर सुरक्षा पर्यवेक्षक पद के लिए आवेदन किया था और पद हासिल करने के लिए 7,500 रुपये खर्च किए थे. जब उनके प्रयास विफल हो गए और उन्हें सुरक्षा पर्यवेक्षक की नौकरी नहीं मिली, तो उन्होंने झांसा देकर कहा कि बैंगलोर हवाई अड्डे और रेलवे स्टेशन में बम है. बाद में, उसे गिरफ्तार कर लिया गया और एक साल के कारावास की सजा सुनाई गई. एक साल की सजा काटने के बाद उनके मन में सरकार के प्रति नफरत पैदा हो गई थी और इसी नफरत के साथ उन्होंने विस्फोटक पदार्थ अधिनियम 1908 की धारा 4 और गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम 1967 की धारा 16 के तहत दंडनीय अपराध किया था. यह भी पढ़ें : दिल्ली में यौन उत्पीड़न का आरोपी पुलिस के साथ मुठभेड़ के बाद पकड़ा गया
अभियोजन पक्ष के कागजात से जो तथ्य सामने आए हैं, वह यह है कि आरोपी ने भारत की एकता एकीकृत सुरक्षा और संप्रभुता को खतरे में डालने के इरादे से तात्कालिक विस्फोटक पदार्थ रखे थे. दक्षिण कन्नड़ जिला के चौथे अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय के न्यायाधीश बी.आर. पल्लवी ने आरोपी 37 वर्षीय आदित्य राव को 11 मार्च को 20 साल कैद की सजा सुनाई थी. आरोपी को विस्फोटक पदार्थ अधिनियम 1908 की धारा 4 और गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम 1967 की धारा 16 के तहत दोषी पाया गया है. उस पर 10,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है. आदित्य राव ने 20 जनवरी, 2020 को मंगलुरु अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर बम लगाया था. अधिकारियों ने बम का पता लगाया और उसी दिन इसे नष्ट कर दिया. हालांकि, दोषी आदित्य राव ने महानिदेशक और महानिरीक्षक कार्यालय में आत्मसमर्पण कर दिया. तब से वह जेल में है. उडुपी जिले के मणिपाल निवासी राव ने अदालत के समक्ष अपना दोष स्वीकार किया था.