दिल्ली: नए साल के मद्देनजर ड्रग कार्टेल हुए अधिक सक्रिय, पुलिस हुई चौकन्नी

नया साल नजदीक आ रहा है. हालांकि कोरोना महामारी जश्न पर अपना दाग छोड़ने जा रहा है लेकिन मादक पदार्थों आपूर्तिकर्ता और तस्कर विपरीत हालातों के बीच भी व्यापारिक संभावनाओंकी तलाश में हैं और जश्न के मौके को भुनाने की कोशिश में लगे हुए हैं. हाल ही में कार्टेल ने बेंगलुरु में एक रेव पार्टी के लिए ड्रग सप्लाई करने की कोशिश की, लेकिन दिसंबर में नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर पुलिस ने पकड़ लिया.

दिल्ली पुलिस (Photo Credit- PTI)

नई दिल्ली, 20 दिसंबर: नया साल नजदीक आ रहा है. हालांकि कोरोना (Coronavirus) महामारी जश्न पर अपना दाग छोड़ने जा रहा है लेकिन मादक पदार्थों आपूर्तिकर्ता और तस्कर विपरीत हालातों के बीच भी व्यापारिक संभावनाओंकी तलाश में हैं और जश्न के मौके को भुनाने की कोशिश में लगे हुए हैं. हाल ही में कार्टेल ने बेंगलुरु में एक रेव पार्टी के लिए ड्रग सप्लाई करने की कोशिश की, लेकिन दिसंबर में नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर पुलिस ने पकड़ लिया. जब गिरफ्तारी की गई तो यह सामने आया कि 10.5 किलोग्राम एमफेटामाइन जिसे आइस के नाम से भी जाना जाता है, जो कि एक रेव पार्टी ड्रग है और जिसकी कीमत अंतर्राष्ट्रीय बाजार में 10.5 करोड़ रुपये है, उसे नववर्ष की पूर्व संध्या पर रेव पार्टी के लिए बेगलुरु ले जाया जा रहा था.

दिलचस्प रूप से, यह पाया गया कि एक विदेशी ने कॉन्ट्राबेंड ड्रग की आपूर्ति के लिए एक भारतीय नागरिक के साथ सहयोग किया. इस मामले में, एक नाइजीरियाई नागरिक चीमा विटालिस (40) और एक भारतीय महिला श्रीमथी (25) को गिरफ्तार किया गया. बरामद सामग्री को आगामी नववर्ष के जश्न के लिए रेव पार्टी के लिए बेंगलुरु ले जाया जा रहा था. इस बीच, दिल्ली के पुलिस कमिश्नर ने भी मादक पदार्थो के इस्तेमाल के खिलाफ जागरूकता पैदा करने पर जोर दिया है.

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दिल्ली पुलिस कमिश्नर एस.एन. श्रीवास्तव ने कहा, "इस पर अंकुश लगाने के लिए आपूर्ति श्रृंखला से लेकर ड्रग डीलरों तक के नेटवर्क को कुचलना जरूरी है. यह एक सामूहिक लड़ाई है और ड्रग्स के खिलाफ लड़ने के लिए समाज को भी नशे के खिलाफ लड़ाई में आगे आना चाहिए. जागरूकता महत्वपूर्ण कुंजी है." तो, क्या यह नए साल या कुछ त्योहारों जैसे अवसरों पर एक विशेष अभियान है, जहां दिल्ली पुलिस ड्रग कार्टेल के खिलाफ अपनी कार्रवाई तेज करती है?

श्रीवास्तव ने कहा, "अभियान की तरह नहीं बल्कि हम हमेशा संगठित अपराध के खिलाफ काम करते रहे हैं. इस बीच हमारा प्रमुख ध्यान शराब, ड्रग्स और जुआ पर है. अच्छी बात यह है कि हमें इसमें काफी सफलता मिल रही है." ओडिशा भारत में गांजा उत्पादन के मामले में अग्रणी राज्यों में से एक है. इसके अलावा, आंध्र प्रदेश-ओडिशा सीमा और अन्य राज्यों के बीच कई गांजा तस्करी के नेटवर्क चल रहे हैं. श्रीवास्तव ने कहा, "हम ओडिशा और आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों में भी काम कर रहे हैं, जहां गांजे की खेती की जाती है. हमें इन राज्यों से पूरा सहयोग मिल रहा है."

नवंबर तक एनडीपीएस अधिनियम के तहत 695 मामले दर्ज किए गए हैं. कुल 844 लोगों को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया है. चरस की कुल जब्ती लगभग 24 किलोग्राम, अफीम 29 किलोग्राम, गांजा 4,205 किलोग्राम, हेरोइन 85 किलोग्राम, पॉपी हेड 699 किलोग्राम और कोकीन की जब्ती 1 किलोग्राम रही है. जबकि लगभग 220 किलोग्राम ट्रेमेडोल जब्त किया गया है और 12,500 किलोग्राम एलप्रेजोलम और 7 किलोग्राम एम्फेटेमाइन इस साल नवंबर तक जब्त किया है. दिल्ली पुलिस नए साल से पहले विज्ञापन के विभिन्न माध्यमों से नशीले पदार्थो के इस्तेमाल के खिलाफ जागरूकता लाने की कोशिश कर रही है.

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