दुश्मन की खैर नहीं, भारत ने जमीन से हवा में मार करने वाले आकाश-1S का किया सफल परीक्षण

बता दें कि 25 और 27 मई को ओडिशा के चांदीपुर में एकीकृत परीक्षण रेंज से आकाश-एमके-1एस का सफल परीक्षण किया. वहीं अब सेना के पास ऐसी ताकत आ गई है कि वे जमीन से हवा में मार करने में सक्षम मिसाइल बनाने की क्षमता हासिल कर ली है.

आकाश-एमके-1ए प्रक्षेपास्त्र का सफलतापूर्वक परीक्षण ( फोटो क्रेडिट - ANI )

नई दिल्ली: भारतीय सेना के बेड़े एक और घातक मिसाइल शामिल हो गया. रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने आकाश-1एम मिसाइल डिफेंस सिस्‍टम का सफलतापूर्वक परीक्षण किया. सतह से हवा में मार करने वाले इस विमानरोधी प्रक्षेपास्त्र की मारक क्षमता 25 किलोमीटर तक है और यह अपने साथ 60 किलो तक आयुध ले जाने में सक्षम है. दो दिनों में आकाश-1एम मिसाइल का दूसरी बार परीक्षण किया गया. इसका सिस्टम इस तरह बनाया गया है कि कई तरफ से आते खतरों को एक साथ आसानी से निशाना बनाया जा सके.

बता दें कि 25 और 27 मई को ओडिशा के चांदीपुर में एकीकृत परीक्षण रेंज से आकाश-एमके-1एस का सफल परीक्षण किया. वहीं अब सेना के पास ऐसी ताकत आ गई है कि वे जमीन से हवा में मार करने में सक्षम मिसाइल बनाने की क्षमता हासिल कर ली है. यह डिफेंस यूनिट न सिर्फ मिसाइल हमले से देश की सीमाओं की रक्षा करने में सहायक होती हैं.

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गौरतलब हो कि इससे पहले ही एयर फोर्स ने सुखोई-30 एमकेआई लड़ाकू विमान से सुपरसोनिक ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया था. हवाई प्रक्षेपित 2.5 टन का ब्रहमोस मिसाइल हवा से जमीन पर मार करने वाला सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल है, जिसकी मारक क्षमता 300 किलोमीटर है.

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