डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम ने मांगी पैरोल, जेल में काट रहा है उम्रकैद की सजा

पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्या और दो साध्वियों के साथ दुष्कर्म मामले में सजा काट रहे डेरा सच्चा सौदा प्रमुख ने पैरोल की मांगी की है. गुरमीत सिंह सीबीआई कोर्ट द्वारा यौन शोषण और हत्या के मामले में सजायाफ्ता है. गुरमीत राम रहीम ने खेतीबाड़ी के लिए जेल प्रशासन से पैरोल मांगी है. सुनारिया जेल प्रशासन ने सिरसा प्रशासन को पत्र लिखकर रिपोर्ट मांगी है.

गुरमीत राम रहीम ( फोटो क्रेडिट- YouTube )

नई दिल्ली. पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्या और दो साध्वियों के साथ दुष्कर्म मामले में सजा काट रहे डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम (Gurmeet Ram Rahi) ने पैरोल की मांगी की है. डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह (Gurmeet Ram Rahim Singh) सीबीआई कोर्ट द्वारा यौन शोषण और हत्या के मामले में सजायाफ्ता है. बताना चाहते है कि गुरमीत राम रहीम (Gurmeet Ram Rahim) ने खेतीबाड़ी के लिए जेल प्रशासन से पैरोल मांगी है. कैदी गुरमीत राम रहीम सिंह (Gurmeet Ram Rahim Singh) हरियाणा राज्य का है. इसलिए वह संशोधित पैरोल अधिनियम 2012 व 2013 के अंतर्गत हार्डकोर श्रेणी में नहीं आता.

सुनारिया जेल प्रशासन ने सिरसा प्रशासन को पत्र लिखकर रिपोर्ट मांगी है. जेल अधीक्षक ने बताया कि जेल में कैदी गुरमीत सिंह (Gurmeet Singh)  का आचरण अच्छा है. सिरसा प्रशासन अपनी रिपोर्ट रोहतक आयुक्त को भेजेगा. कानून व्यवस्था कायम रखना सिरसा प्रशासन के लिए चुनौती भरा होगा. यह भी पढ़े-पत्रकार हत्याकांड मामला: छत्रपति मर्डर केस में सजा पर फैसला आज, राम रहीम समेत 4 लोगों को आज सुनाई जाएगी सजा

ज्ञात हो कि डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम (Gurmit Ram Rahim) को सीबीआई (CBI) की विशेष अदालत ने पत्रकार रामचंद्र छत्रपति मर्डर केस (Journalist Murder Case) में उम्रकैद की सजा सुनाई है. 17 साल पुराने इस हत्या मामले में राम रहीम (Ram Rahim) के अलावा बाकी 3 दोषियों को भी उम्रकैद की सजा मिली है.

पंचकूला की विशेष सीबीआई अदालत (CBI Court) ने इस मामले में राम रहीम सहित सभी दोषी निर्मल सिंह, कुलदीप सिंह और किशन लाल को उम्रकैद की सजा सुनाई और सभी पर 50,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया.

गौरतलब है कि 24 अक्टूबर 2002 में पत्रकार रामचंद्र छत्रपति को कथित रूप से राम रहीम के अनुयायियों द्वारा गोली मारी गई थी जिसके बाद अस्पताल में करीब एक महीने तक जूझने के बाद 21 नवंबर 2002 को उनकी मृत्यु हो गई थी. छत्रपति ने ही राम रहीम (Gurmeet Ram Rahim) के आश्रम में साध्वियों के साथ हो रहे गलत कामों को लेकर अपने अखबार 'पूरा सच' में मोर्चा खोला था.

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