उत्तर प्रदेश: अवैध खनन में दोषी खनिज अधिकारी को हटाया गया, 4 पट्टाधारकों के खिलाफ मुकदमा दायर

उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में बालू के अवैध खनन में दोषी पाए गए खनिज अधिकारी को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है और उनके निलंबन की संस्तुति की गई है.

अवैध खनन (Photo Credit- Pixabay)

बांदा/लखनऊ : उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में बालू के अवैध खनन में दोषी पाए गए खनिज अधिकारी को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है और उनके निलंबन की संस्तुति की गई है. साथ ही चार बालू पट्टाधारकों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज कराया गया है. भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग की निदेशक डॉ. रोशन जैकब ने सोमवार को लखनऊ में जारी विज्ञप्ति में कहा, "आकस्मिक जांच के दौरान बांदा जिले की पैलानी तहसील की खप्टिहा कलां बालू खदान क्षेत्र में पट्टाधारक अचल कुमार शर्मा, रेंहुटा में ओमप्रकाश-रामऔतार, सांडी खादर में सिल्वर लाइन, अमलोर खादर में चौधरी ट्रेडर्स द्वारा अवैध खनन किया जा रहा था.

इन पट्टाधारकों के ईएमएस.11 (रवन्ना पर्ची) के रिकॉर्ड से मिलान में पर्यावरण स्वच्छता प्रमाण पत्र में अंकित मात्रा से अधिक खनन पाया गया है. विभाग ने पट्टाधारकों का वर्ष की शेष अवधि के लिए खनन कार्य प्रतिबंधित कर दिया है."

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उन्होंने विज्ञप्ति में कहा, "बांदा में अवैध परिवहन में दोषी पाए गए परिवहनकर्ता का परमिट निरस्त करने के लिए जिलाधिकारी को निर्देश दिए हैं. यहां अब खनन एवं परिवहन की जिम्मेदारी गोंडा जिले में तैनात खनन निरीक्षक राकेश कुमार को दी गई है."

खनिकर्म निदेशक जैकब ने बताया कि उपरोक्त चार बालू पट्टाधारकों के खिलाफ अवैध खनन से संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया गया है और अवैध खनन होने में दोषी पाए गए खनिज अधिकारी, बांदा, शैलेन्द्र सिंह को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है. साथ ही उनके निलंबन के लिए शासन को संस्तुति भेजी गई है.

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