राममनोहर लोहिया अस्पताल पर लगा कोरोना टेस्ट रिपोर्ट देरी से देने का आरोप, दिल्ली सरकार ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री से की शिकायत
दिल्ली सरकार ने केंद्र सरकार द्वारा संचालित आरएमएल अस्पताल की लापरवाही की शिकायत केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन (Dr Harsh Vardhan) से भी की है. साथ ही मांग की है कि केंद्र सरकार उन लैब को बंद करवा दें जो ठीक से काम नहीं कर रही है या उसे दुरुस्त किया जाए.
नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण से निपटने के लिए तैयार किए गए विभिन्न अस्पतालों में से एक राममनोहर लोहिया अस्पताल (आरएमएल) पर केजरीवाल सरकार ने कोविड-19 जांच रिपोर्ट देरी से देने का आरोप लगाया है. दिल्ली में कोरोना संक्रमण से दम तोड़ने वाले सबसे अधिक मरीज भी इसी अस्पताल से है. आरएमएल अस्पताल में अटल बिहारी वाजपेयी आयुर्विज्ञान संस्थान के डीन समेत कई मेडिकल स्टाफ भी कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए हैं.
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन (Satyendra Jain) ने गुरुवार को आरोप लगाया कि राम मनोहर लोहिया अस्पताल कोरोना वायरस की समय पर रिपोर्ट नहीं दे रहा है. कोविड-19 टेस्ट करवाने के करीब 4 से 7 दिन बाद रिपोर्ट दिया जा रहा है. आज 70 फीसदी मरीजों की मौत अस्पताल पहुंचने के 24 घंटों के अंदर हुई है. क्योंकि अस्पताल रिपोर्ट देने में देरी कर रहा है. आरएमएल अस्पताल कोविड-19 जांच के गलत नतीजे दे रहा : आप
उन्होंने कहा कि कोविड-19 संदिग्ध मरीज की रिपोर्ट 24 घंटों के अंदर देनी चाहिए. एक दिन अस्पताल में सैंपल देने वाले लोगों में से 94 फीसदी की रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी. इसके बाद हमने कुछ सैंपल दोबारा टेस्ट कराए तो 45 फीसदी की रिपोर्ट में कोरोना संक्रमण नहीं मिला.
दिल्ली सरकार ने केंद्र सरकार द्वारा संचालित आरएमएल अस्पताल की लापरवाही की शिकायत केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन (Dr Harsh Vardhan) से भी की है. साथ ही मांग की है कि केंद्र सरकार उन लैब को बंद करवा दें जो ठीक से काम नहीं कर रही है या उसे दुरुस्त किया जाए.
आरएमएल अस्पताल पर कोविड-19 जांच के गलत नतीजे देने का आरोप आम आदमी पार्टी भी लगा चुकी है. अस्पताल प्रशासन ने अप्रैल महीने में दावा किया था कि उनके यहां कोरोना वायरस के कारण जान गंवाने वाले अधिकतर मरीज देरी से एडमिट किए गए होते है, जिन्हें बहुत बाद में दूसरे अस्पतालों से यहां भेजा जाता है. या फिर वे पहले से ही गंभीर बीमारियों से पीड़ित होते है.
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक गुरुवार सुबह तक दिल्ली में कोरोना वायरस के 23,645 मामले सामने आए. जिसमें से 9542 लोगों को अस्पतालों से छुट्टी दी जा चुकी है. जबकि 606 संक्रमित मरीज दम तोड़ चुके है.