छतीसगढ़: गर्भवती महिला को बर्तन में रख नदी पार करा अस्पताल ले गए परिजन, लेकिन मिली बुरी खबर
छत्तीसगढ़ से एक बेहद चौंकाने वाली खबर सामने आई है. जहां एक गर्भवती महिला को नदी के दूसरी तरफ बने अस्पताल में ले जाने के लिए बर्तन को नाव की तरह इस्तेमाल करना पड़ा. एनएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक गर्भवती महिला को 14 जुलाई को नदी के दूसरी तरफ 15 किमी दूर अस्पताल जाने के लिए बीजापुर के गोरला में जाने के लिए अपने परिवार की मदद से एक बर्तन में नदी पार की. दरअसल महिला और उसके परिजनों को ऐसा इसलिए करना पड़ा क्योंकि नदी पार करने लिए न तो सड़क और नहीं पुल थे. जिसके अभाव में गर्भवती महिला के परिवार के लोगों ने ऐसा किया. वहीं खबर यह भी है कि महिला ने बाद में बच्चे को जन्म दिया. लेकिन बच्चा जीवित नहीं था. जिसके बाद परिवार ने चिकित्सा लापरवाही का आरोप लगाया है.
छत्तीसगढ़ से एक बेहद चौंकाने वाली खबर सामने आई है. जहां एक गर्भवती महिला को नदी के दूसरी तरफ बने अस्पताल में ले जाने के लिए बर्तन को नाव की तरह इस्तेमाल करना पड़ा. एनएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक गर्भवती महिला को 14 जुलाई को नदी के दूसरी तरफ 15 किमी दूर अस्पताल जाने के लिए बीजापुर के गोरला में जाने के लिए अपने परिवार की मदद से एक बर्तन में नदी पार की. दरअसल महिला और उसके परिजनों को ऐसा इसलिए करना पड़ा क्योंकि नदी पार करने लिए न तो सड़क और नहीं पुल थे. जिसके अभाव में गर्भवती महिला के परिवार के लोगों ने ऐसा किया. वहीं खबर यह भी है कि महिला ने बाद में बच्चे को जन्म दिया. लेकिन बच्चा जीवित नहीं था. जिसके बाद परिवार ने चिकित्सा लापरवाही का आरोप लगाया है.
दरअसल महिला के परिजनों ने आरोप लगाते हुए कहा कि डॉक्टर और नर्स ने सहीं समय पर इलाज नहीं किया. उन्होंने अनदेखी का आरोप लगाया. वहीं इस मामले पर मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक डॉक्टरों का कहना है कि बच्चा महिला के गर्भ में मर चुका था. वहीं इस घटना के बाद महिला और पूरा परिवार सदमे में हैं. महिला अपने मायके में थी जहां उसे अचानक प्रसव होने लगा. जिसके बाद घर के सदस्यों ने महिला को भोपालपट्टनम हॉस्पिटल लेकर पहुंचे.
ANI का ट्वीट:-
परिजनों का कहना है कि जब महिला के साथ वे अस्पताल पहुंचे तो नर्स और स्टाफ ने कहा कि बच्चा ठीक है. लेकिन अचानक रात में उन्होंने कहा कि बच्चे की मौत हो गई है. जिसके बाद उन्होंने डॉक्टर और नर्स के खिलाफ लिखित में शिकायत दी. वहीं इस घटना के बाद संबंधित अधिकारीयों को नोटिस जारी किया गया है. लेकिन सवाल उठने लगा है कि अगर सड़क और पुल होते तो क्या ऐसी घटना होती.