Badlapur Sexual Abuse: मासूम बच्चियों का एक नहीं कई बार हुआ यौन शोषण, SIT ने अब स्कूल प्रशासन को भी बनाया आरोपी

बच्चियों से यौन उत्पीड़न मामले में एसआईटी की टीम ने अब स्कूल प्रशासन को भी आरोपी बनाया है. इससे पहले केवल अक्षय शिंदे को आरोपी बनाया गया था.

Protest against Badlapur Sexual Abuse | PTI

Badlapur Sexual Abuse: बदलापुर के आदर्श स्कूल में चार साल की दो बच्चियों के साथ दुष्कर्म की घटना के बाद से लोगों में जबरदस्त आक्रोश है. पुलिस ने आरोपी सफाईकर्मी अक्षय शिंदे को गिरफ्तार किया है. बदलापुर की घटना ने पूरे प्रदेश को झकझोर कर रख दिया है. इस बीच मामले में जांच जारी है और रोजाना नए खुलासे हो रहे हैं. रिपोर्ट्स के अनुसार इन बच्चियों के साथ कई बार यौन उत्पीड़न हुआ. पिछले पंद्रह दिनों में कई बार बच्चियों से दुर्व्यवहार किया गया. राज्य द्वारा नियुक्त दो-सदस्यीय समिति की प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, दोनों बच्चियों का हाइमन फट गया था, जिससे यह स्पष्ट होता है कि उनके साथ गंभीर अपराध हुआ है.

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रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि स्कूल प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया और मामले की सूचना देने में देरी की. सूत्रों के अनुसार, स्कूल की प्रिंसिपल ने इस घटना की जानकारी 14 अगस्त को ट्रस्टी को दी. यह देरी और स्कूल प्रशासन की लापरवाही ने मामले को और जटिल बना दिया है.

स्कूल प्रशसन भी आरोपी

बच्चियों से यौन उत्पीड़न मामले में एसआईटी की टीम ने अब स्कूल प्रशासन को भी आरोपी बनाया है. इससे पहले केवल अक्षय शिंदे को आरोपी बनाया गया था. अक्षय को फिलहाल 26 अगस्त तक पुलिस हिरासत में भेजा गया है. मामले में स्कूल प्रिंसिपल और क्लास टीचर को निलंबित कर दिया गया है. साथ ही मामले में पुलिस इंस्पेक्टर शुभदा शितोले के खिलाफ भी कार्रवाई की गई है. मामले में लापरवाही बरतने के आरोप में शितोले का ट्रांसफर कर दिया गया है.

स्कूल प्रसाशन की लापवाही

स्कूल का सफाईकर्मी अक्षय शिंदे इस मामले का मुख्य आरोपी है ही, इसके साथ ही इस मामले में स्कूल पर लापरवाही का आरोप है. पीड़िता बच्ची के परिवार का कहना है कि स्कूल ने उनकी कोई मदद नहीं की थी, बल्कि स्कूल ने तो झूठ बोलकर उन्हें गुमराह करने की कोशिश भी की थी.

पीड़िता के परिवार ने बताया कि जब उन्होंने स्कूल के प्रिंसिपल और शिक्षकों को मेडिकल रिपोर्ट दिखाई, तो उन्होंने इसे गंभीरता से लेने के बजाय यह कह दिया कि हो सकता है कि साइकिल चलाने से बच्ची के निजी अंगों में चोट लग गई हो. जबकि मेडिकल रिपोर्ट थी जिसमें इस बात-बात का साफ-साफ जिक्र था, बच्ची के साथ अपराध किया गया है और यह घटना स्कूल में ही हुई थी.

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