रांची, 30 सितंबर: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की एक विशेष अदालत ने तारा शाहदेव धर्मांतरण मामले में शनिवार को उनके पूर्व पति और सास समेत सभी तीन मुख्य आरोपियों को दोषी करार दिया. विशेष सीबीआई न्यायाधीश प्रभात कुमार शर्मा की अदालत ने मामले में तीनों को दोषी ठहराया और सजा की घोषणा के लिए पांच अक्टूबर की तारीख तय की. तीनों दोषियों- शाहदेव के पति रंजीत कोहली उर्फ रकीबुल हसन, उसकी मां कौसर रानी और मुश्ताक अहमद को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया.
शाहदेव ने अपनी शिकायत में कहा था कि उन्होंने सात जुलाई 2014 को हिंदू रीति-रिवाज के अनुसार रंजीत कोहली उर्फ रकीबुल हसन से शादी की थी, लेकिन शादी के दूसरे दिन ही उनके पति और उस समय सतर्कता रजिस्ट्रार के रूप में कार्यरत अहमद ने उन्हें उनका धर्म बदलने और निकाह करने के लिए मजबूर किया था. सीबीआई ने 2015 में जांच अपने हाथ में ली थी और दिल्ली में मामला दर्ज किया था.शाहदेव को जून 2018 में रांची की एक कुटुंब अदालत में तलाक दी गई थी. उन्होंने अदालत में याचिका दायर की थी कि हसन ने अपने धर्म के बारे में गलत जानकारी देकर धोखे से शादी की थी. शाहदेव आरोप लगाया था कि हसन ने इस्लाम कबूल करने से इनकार करने पर प्रताड़ित किया था.
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