नयी दिल्ली, 19 अगस्त आम आदमी पार्टी (आप) के कई नेताओं और मंत्रियों को अब तक विभिन्न केंद्रीय जांच एजेंसी और दिल्ली पुलिस की कार्रवाई का सामना करना पड़ा है और उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया उन सूची में एक और नेता हैं।
आप नेताओं को धनशोधन से लेकर शारीरिक हमलों जैसे आरोपों में विभिन्न केंद्रीय जांच एजेंसी और दिल्ली पुलिस की कार्रवाई का सामना करना पड़ा है।
केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने दिल्ली आबकारी नीति मामले में दिल्ली के उपमुख्यमंत्री सिसोदिया के आवास सहित 21 स्थानों पर शुक्रवार को छापा मारा।
सिसोदिया के यहां सीबीआई छापे के बाद भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत केंद्र सरकार और आप के बीच वाकयुद्ध तेज हो गया और आप ने आरोप लगाया कि एजेंसी "ऊपर से" आदेश के अनुसार काम कर रही है।
आप नेता और राज्यसभा सदस्य राघव चड्ढा ने दावा किया कि पार्टी नेताओं के खिलाफ 100 से अधिक फर्जी मामले दर्ज किए गए थे, लेकिन वे हर बार अदालतों में निर्दोष साबित हुए।
मुख्यमंत्री के आधिकारिक आवास पर 2018 में एक बैठक के दौरान तत्कालीन मुख्य सचिव अंशु प्रकाश पर हमले में अरविंद केजरीवाल का नाम आया था। उसी वर्ष दिल्ली पुलिस आप विधायकों अमानतुल्ला खान और प्रकाश जरवाल द्वारा कथित हमले के संबंध में वीडियो और अन्य सबूतों की तलाश में मुख्यमंत्री के आवास पर गई थी।
निचली अदालत ने केजरीवाल, सिसोदिया और आप के अन्य विधायकों- राजेश ऋषि, नितिन त्यागी, प्रवीण कुमार, अजय दत्त, संजीव झा, ऋतुराज गोविंद, राजेश गुप्ता, मदन लाल और दिनेश मोहनिया को आरोप मुक्त कर दिया था। अदालत ने खान और जरवाल के खिलाफ आरोप तय करने का आदेश दिया।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)