नयी दिल्ली, 1 मई : प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बृहस्पतिवार को दिल्ली उच्च न्यायालय में कथित बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल जेम्स की उस याचिका का विरोध किया जिसमें उसने 3,600 करोड़ रुपये के अगस्ता वेस्टलैंड सौदे से जुड़े धन शोधन मामले में अपनी जमानत शर्तों में परिवर्तन करने का अनुरोध किया है. न्यायमूर्ति स्वर्ण कांत शर्मा के समक्ष ईडी ने जेम्स की याचिका पर अपना जवाब दाखिल किया. न्यायमूर्ति शर्मा ने कहा कि वह छह मई को मामले की सुनवाई करेंगे. जेम्स को इसके निर्देशों के अनुपालन में वीडियो-कॉन्फ्रेंस के जरिए जेल से अदालत के समक्ष पेश किया गया. अदालत ने जेल अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे उसे छह मई को फिर से वर्चुअल माध्यम से पेश करें.
जेम्स ने जमानत की शर्त में ढील देने का अनुरोध किया है जिसमें उसे पांच लाख रुपये का मुचलका पेश करने के लिए कहा गया था. जेम्स की याचिका का विरोध करते हुए ईडी ने कहा कि जेम्स एक विदेशी नागरिक है जिसका भारत से कोई संबंध नहीं है. अदालत ने कहा कि उसकी भारत में उपस्थिति सुनिश्चित करने का कोई तरीका नहीं था. ईडी ने कहा, ‘‘पहली शर्त, यानी पांच लाख रुपये की राशि का निजी मुचलका और जमानतदार पेश करने के संबंध में, यह प्रस्तुत किया गया है कि आवेदक एक विदेशी नागरिक है और भारत से उसका कोई जुड़ाव नहीं हैं. यदि आवेदक द्वारा इस न्यायालय द्वारा लगाई गई शर्तों के अनुसार कोई स्थानीय जमानतदार पेश नहीं किया जाता है, तो भारत में उसकी उपस्थिति सुनिश्चित करने का कोई तरीका नहीं है और वह आसानी से देश से भाग सकता है.’’ यह भी पढ़ें : सरकार ने खबर की सुर्खी तो दे दी लेकिन समय सीमा नहीं बताई: कांग्रेस ने जातिगत गणना के फैसले पर कहा
संघीय जांच एजेंसी ने कहा कि उसके पिछले आचरण को देखते हुए, यदि शर्त को माफ कर दिया जाता है तो भविष्य में उसकी उपस्थिति सुनिश्चित करना मुश्किल होगा.
उच्च न्यायालय ने 4 मार्च को उसे ईडी मामले में जमानत दे दी थी, जबकि उच्चतम न्यायालय ने 18 फरवरी को संबंधित सीबीआई मामले में उसे राहत दी थी. जांच एजेंसियों ने इतालवी निर्माण कंपनी अगस्ता वेस्टलैंड से 12 वीवीआईपी हेलीकॉप्टर की खरीद में अनियमितताओं की जानकारी दी थी. इस मामले में जेम्स को दिसंबर 2018 में दुबई से प्रत्यर्पित करके भारत लाया गया था जिसके बाद सीबीआई और ईडी ने उसे गिरफ्तार किया था. जेम्स इस मामले में जांच के दायरे में आए तीन कथित बिचौलियों में से एक हैं. दो अन्य बिचौलिए गुइडो हैश्के और कार्लो गेरोसा हैं.












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