Diarrhea Case: हिमाचल प्रदेश के गांवों में डायरिया का प्रकोप, मामले 1200 के पार पहुंचे
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo: PTI)

हमीरपुर (हिमाचल प्रदेश), 31 जनवरी हमीरपुर जिले के नादौन अनुमंडल के गांवों में पिछले तीन दिनों में डायरिया मरीजों की संख्या बढ़कर 1,200 के पार चले जाने का अनुमान है. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि मामलों का सटीक आंकड़ा शाम तक उपलब्ध होगा. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक सोमवार रात तक 868 मामले सामने आए। वहीं, एक मरीज का अस्पताल में इलाज चल रहा है। नादौन, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का विधानसभा क्षेत्र है. यह भी पढ़ें: अब पसीने से चलेगा कोरोना वायरस का पता, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के पूर्व छात्र ने बायोसेंसर किया विकसित

जल शक्ति विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, पानी के नमूनों की प्रारंभिक जांच में किसी तरह के प्रदूषण के संकेत नहीं मिले हैं. वहीं, विभाग के अधीक्षक अभियंता नीरज भोगल ने कहा, ‘‘कुनाह खड्ड में चल रही सभी योजनाओं से रोजाना पानी के नमूने लेकर चंडीगढ़ की एक प्रयोगशाला में भेजे जाएंगे. उन्होंने कहा कि जब तक पानी की गुणवत्ता की जांच नहीं हो जाती, तब तक इसकी आपूर्ति नहीं की जाएगी.

जल शक्ति विभाग की विभिन्न योजनाओं के तहत प्रभावित गांवों में आसपास के खड्डों से पानी की आपूर्ति की जाती है. गौरतलब है कि, 47 गांवों के मरीजों ने उल्टी, दस्त और बुखार की शिकायत की है, जो जल जनित बीमारी का संकेत है। इस बीमारी से नादौन के बनह, जंडगी गुजरां, जंदाली राजपुतान, पनियाला, पथियालू, नियाति, रंगस चौकी हार, थाइन और शंकर क्षेत्र सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं.

वहीं, स्थानीय लोगों ने विभाग पर जलापूर्ति से पहले उचित क्लोरीनीकरण सुनिश्चित नहीं करने का आरोप लगाया है. रंगस पंचायत के मुखिया राजीव कुमार ने पहले आरोप लगाया था कि हर घर में दो से तीन लोग पानी पीने के बाद बीमार हो रहे हैं। मुखिया के मुताबिक, पानी में जीवाणु की उच्च मात्रा बीमारी का कारण है.

वहीं, मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सुनील शर्मा ने मंगलवार को नादौन के प्रभावित गांवों का दौरा किया.

उन्होंने बताया कि प्रदूषित पानी पीने से लोग बीमार पड़ गए हैं। इसके बाद उन्होंने जलस्रोत का निरीक्षण किया और अधिकारियों को जल्द से जल्द बीमारी पर काबू पाने के निर्देश दिए.

शर्मा के मुताबिक, नादौन सहित राज्य में विभिन्न योजनाओं के माध्यम से आपूर्ति किए गए सभी जल को स्थायी रूप से साफ करने का प्रयास किया जाएगा और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि लोगों को पीने के साफ पानी की आपूर्ति हो.

उन्होंने कहा कि लोगों के स्वास्थ्य को लेकर किसी भी तरह की ढिलाई बर्दाश्त नहीं की जाएगी.

स्वास्थ्य विभाग की टीमें प्रभावित और आसपास के गांवों में लोगों से मिलने और दवा बांटने के लिए लगातार पहुंच रही है.

वहीं, स्थानीय निवासियों को भी सलाह दी गई है कि समस्या का समाधान नहीं होने तक पानी उबालकर ही पीएं.

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