जयपुर, 10 जनवरी भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां ने कहा राज्य में आगामी विधानसभा उपचुनावों में कोरोना कु-प्रबंधन, किसानों की सम्पूर्ण कर्जमाफी, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, कानून व्यवस्था सहित विभिन्न जनहित के मुद्दे प्रमुखता से उठेंगे।
पूनियां ने कहा कि जनविरोधी नीतियों के कारण प्रदेश की गहलोत सरकार के खिलाफ दो साल में ही सत्ता विरोधी लहर बन चुकी है। पंचायतीराज चुनाव में 2.41 करोड़ मतदाताओं ने यह साबित कर दिया और इस मौजूदा कांग्रेस पार्टी की सरकार को बड़ी शिकस्त मिली और राजस्थान के इतिहास में यह पहली बार हुआ है कि किसी सत्ताधारी दल को जनादेश नहीं मिला हो।
पार्टी नेताओं के साथ बैठक के बाद उन्होंने रविवार को संवाददाताओं से बातचीत में कहा, ‘‘राज्य में खराब कानून व्यवस्था के चलते राजस्थान अपराध के मामलों में अग्रणी राज्य की श्रेणी में आ गया है।’’ उन्होंने कहा कि ‘‘सरकार सभी मोर्चों पर प्रदर्शन करने में विफल रही है और लोग कांग्रेस के शासन से तंग आ चुके हैं।’’
बैठक में सहारा (भीलवाड़ा), राजसमंद और सुजानगढ़ (चूरू) के आगामी उपचुनावों की रणनीति पर चर्चा की गई। भीलवाडा के सहारा और चूरू के सुजानगढ पर कांग्रेस और राजसमंद पर भाजपा विधायकों का ही में निधन हो गया था।
पूनियां ने कहा कि हमारे लिए जीताऊ उम्मीदवार प्रमुख प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि ये प्रारम्भिक चर्चा है, क्योंकि अभी चुनाव की घोषणा बाकी है। स्थानीय कार्यकर्ता, प्रमुख जिम्मेवार लोगों को हमने क्षेत्रों में भेजा है, वो अपने स्तर पर भी रायशुमारी करेंगे और पार्टी ने भी अपने स्तर पर सर्वे की अपनी व्यवस्था की है।
पूनियां ने कहा कि कुछ शरारती तत्वों ने उनके नाम पर एक ‘मोर्चा’ बनाया है और उसे सोशल मीडिया पर प्रसारित किया है जिसकी जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि हम ऐसे लोग है जो पार्टी के नाम पर काम करते है। हमें किसी मोर्चा की आवश्यकता नहीं है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हमारे नेता है और कमल हमारी पहचान है।
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