यूरोपीय संघ और कैरेबियाई देशों के नेताओं की सोमवार को ब्रसेल्स में बैठक हो रही है. इसमें संबंधों में आए तनाव को दूर करने पर बात होगी. रूस और यूक्रेन के युद्ध का मसला बातचीत के केंद्र में हैं.और कैरेबियाई देशों के बीच असहमति की कई वजहें हैं. इनमें रूस और युक्रेन का युद्ध एक बड़ी वजह है जिस पर सहमति की कोशिश चल रही है. यूरोपीय संघ और कैरेबियाई राज्यों के समुदाय (सीईएलएसी) के बीच तनाव की वजहों में व्यापार और यूक्रेन पर रूस का आक्रमण शामिल हैं. यूरोप रूस के खिलाफ एक मजबूत रुख पर जोर देता रहा है लेकिन लैटिन अमेरिका और 33 कैरेबियाई देश यूक्रेन युद्ध को लेकर सहमति पर नहीं पहुंच पाए हैं. जिनमें से कुछ रूस के साथ अपने संबंधों को बचाए रखना चाहते हैं या किसी तरह के शांति समझौते की तलाश में हैं.
इस सम्मेलन में कुछ सीईएलएसी प्रतिनिधि 2019 के ईयू-मर्कोसुर व्यापार समझौते के अमल पर जोर देंगे. यह व्यापार समझौता जंगलों की कटाई और कृषि प्रतिस्पर्धा के बारे में है. यह यूरोपीय संघ और अर्जेंटीना, ब्राजील, पैराग्वे और उरुग्वे के बीच व्यापार को उदार बनाता है. हालांकि सहमति के तीन साल बाद भी कई यूरोपीय सरकारों ने मंजूरी नहीं दी है.
यूरोपीय संघ के अध्यक्ष स्पेन और कुछ दूसरे देशों को उम्मीद थी कि स्पेन के कार्यकाल में आयोजित सम्मेलन से मर्कोसुर समझौते को नई गति मिलेगी. हालांकि इस साल की बात करें तो दोनों गुटों के राजनयिकों का रुख इस बात को लेकर स्पष्ट हैं कि सोमवार की बातचीत में केवल चर्चा ही होगी और व्यापार पर कोई सफलता मिलने की उम्मीद नहीं है. एक वरिष्ठ स्पेनी राजनयिक ने ब्रसेल्स में संवाददाताओं से कहा कि ईयू-सीईएलएसी "एक राजनीतिक शिखर सम्मेलन होगा, बातचीत शिखर सम्मेलन नहीं." गुस्तावो पांडियानी लैटिन अमेरिकी मामलों के लिए अर्जेंटीना के अवर सचिव हैं. उन्होंने कहा, ''हम टैरिफ के बारे में बात नहीं करेंगे. किसी ने चार साल पहले घोषणा की थी कि हमारे बीच एक समझौता हो गया है लेकिन अभी भी हम इस पर चर्चा कर रहे हैं. इसलिए, यह संभव है कि तब हमारे बीच कोई समझौता हुआ ही नहीं था."
2020 में यूरोपीय संघ ने अपने तथाकथित ग्रीन डील को अपनाया था. यह डील विशेष रूप से केवल लैटिन अमेरिका के लिए नहीं, बल्कि यूरोपीय संघ के व्यापार सौदों को भी कठिन पर्यावरण मानकों से बांधता है. मार्च में यूरोपीय संघ ने व्यापार समझौते को अपडेट करने के लिए कई प्रस्ताव प्रस्तुत किए. इनमें वनों की कटाई पर बाध्यकारी सीमाएं शामिल थीं. चूंकि यह व्यापार परिणामों के साथ जुड़े थे, इन्होने ब्राजील के गुस्से को भड़काया.
यूरोप चाहता है कि 33 सीईएलएसी देश यूक्रेन के समर्थन में और से रूस के आक्रमण की निंदा करने वाले बयान पर हस्ताक्षर करें. उधर ब्राजील का कहना है कि यूक्रेन और रूस दोनों ही संघर्ष के लिए जिम्मेदार हैं. साथ ही क्यूबा और वेनेज़ुएला रूसी सहयोगी बने हुए हैं. यूरोप और कैरेबियाई देशों के बीच यह तीसरा सम्मेलन है और इससे पहले यह 2015 में हुआ था. यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की ने वीडियो लिंक द्वारा अरब लीग, अफ्रीकी संघ और जी7 सहित शिखर सम्मेलन को संबोधित किया है. हालांकि उन्हें ईयू-सीईएलएसी से प्रतिबंधित कर दिया गया है.
एचवी/एनआर(एएफपी)