इमरान खान ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में भी नहीं छोड़ा पैसे मांगने का मौका, बोले ‘अमीर देश मदद करें’

संयुक्‍त राष्‍ट्र महासभा (United Nations General Assembly) में कंगाल पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) ने देश की आर्थिक दुर्दशा का जिक्र किया. महासभा के 74वें अधिवेशन को संबोधित करते हुए उन्होंने अमीर राष्ट्रों से मदद करने की अपील की.

इमरान खान (Photo Credits: Twitter)

न्यूयॉर्क: संयुक्‍त राष्‍ट्र महासभा (United Nations General Assembly) में कंगाल पाकिस्तान (Pakistan) के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) ने देश की आर्थिक दुर्दशा का जिक्र किया. महासभा के 74वें अधिवेशन को संबोधित करते हुए उन्होंने अमीर राष्ट्रों से मदद करने की गुहार लगाई.

संयुक्त राष्ट्र महासभा सत्र में दिए भाषण में इमरान खान ने कहा कि हम अपने 200 मिलियन लोगों की मदद कैसे करेंगे जब हम अपने सभी पैसे का उपयोग कर्ज के लिए कर रहे हैं ?” मनी लॉन्ड्रिंग को गरीब देशों के लिए विनाशकारी बताते हुए पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारे पास वकीलों पर लाखों खर्च करने के लिए पैसा नहीं है. हमें अमीर देशों से मदद की ज़रूरत है. उन्हें (अमीर देशों को) राजनीतिक इच्छाशक्ति दिखानी होगी.

इस दौरान उन्होंने कश्मीर मसले पर घड़ियाली आंसू भी बहाएं. उन्होंने कहा कि भारत ने कश्मीर में अपने सैनिकों की भारी संख्या में तैनाती कर आठ मिलियन लोगों को कर्फ्यू में रखा हुआ है.

इससे पहले भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व को ‘‘युद्ध नहीं बुद्ध’’के शांति संदेश देने के भारत के योगदान को रेखांकित करते हुए कहा कि आतंकवाद के खतरे के प्रति विश्व समुदाय को एक होने की जरुरत है. संयुक्त राष्ट्र महासभा में दिए अपने भाषण में उन्होंने चेताया और आह्वान किया कि आतंकवाद के विरूद्ध वैश्विक एकजुटता होनी चाहिए.

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पीएम मोदी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 74वें सत्र को हिंदी में संबोधित करते हुए कहा, ‘‘आतंक के नाम पर बंटी दुनिया उन सिद्धांतों को ठेस पहुंचाती है, जिनके आधार पर संयुक्त राष्ट्र का जन्म हुआ. मैं समझता हूं कि आतंकवाद के खिलाफ पूरे विश्व का एकजुट होना अनिवार्य है.’’

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