रावलपिंडी, 22 जनवरी: पाकिस्तान (Pakistan) से एक ऐसा मामला सामने आया है, जिसमें कोर्ट (Court) ने एक महिला को फांसी की सजा (Death Sentence) सुनाई है. महिला पर आरोप है कि उसने व्हाट्सएप पर भेजे गए संदेश में पैगंबर मोहम्मद (Mohammad Sahab) के खिलाफ अपशब्दों का प्रयोग किया था.
महिला पर ईशनिंदा (Blasphemy) का केस रावलपिंडी कोर्ट में चल रहा था. फारुक हसनात नाम के व्यक्ति की शिकायत पर रावलपिंडी कोर्ट ने फांसी की सजा का एलान किया है. कोर्ट ने महिला को साइबर कानूनों के उल्लंघन, धर्म अपमान और पैगंबर मोहम्मद की अवमानना का दोषी पाया है.
Woman sentenced to death in #Pakistan over alleged #blasphemous msgs on @WhatsApp
The woman who denied the charges told the court, the complainant intentionally dragged her into a religious discussion to take revenge after she had rebuffed his advances.
— Tarek Fatah (@TarekFatah) January 21, 2022
आरोपी अनिका अतीक ने साल 2020 में व्हाट्सएप (Whatsapp) पर फारुक को एक संदेश भेजा था. इसमें ईशनिंदा से जुड़ी कुछ बातें साझा की गई थी. इस पर फारुक ने अनिका अतीक से कहा था कि वे ऐसे इस मैसेज को तुरंत डिलीट करें औरउनसे माफी मांगे, लेकिन महिला ने ऐसा नहीं किया इसके बाद फारुक ने थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई थी. शिकायत दर्ज करने के बाद पुलिस ने अनिका को गिरफ्तार कर लिया था. अब रावलपिंडी कोर्ट (Rawalpindi Court) ने इस मामले में महिला को फांसी की सजा सुनाई है.
A court in Pakistan's Rawalpindi has sentenced to death a 26-year-old woman for blasphemy.
— Roohan Ahmed (@Roohan_Ahmed) January 19, 2022
पाकिस्तान (Pakistan)में ईशनिंदा के कानून को 80 के दशक में पूर्व सैन्य तानाशाह जियाउल हक (Muhammad Zia-ul-Haq) के द्वारा लाया गया था. इन कानूनों के तहत अब तक कई बार मौत की सजा सुनाई जा चुकी है. हालांकि, अभी तक किसी को भी फांसी नहीं दी गई है.