
Sunita Williams Return: नासा (NASA) की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और उनके साथियों ने स्पेसएक्स क्रू ड्रैगन कैप्सूल (Spacex Crew Dragon Capsule) में सवार होकर पृथ्वी की ओर अपनी वापसी शुरू कर दी है. भारतीय मूल की वैज्ञानिक सुनीता विलियम्स, उनके सह-अंतरिक्ष यात्री बुच विलमोर, निक हेग और रूसी कॉस्मोनॉट अलेक्ज़ेंडर गोरबुनोव के साथ 19 मार्च को पृथ्वी पर उतरने की उम्मीद है. अंतरिक्ष में फंसे एस्ट्रोनॉट सुनीता विलियम्स और बुच विल्मोर 9 महीने 13 दिन बाद पृथ्वी पर लौट रहे हैं.
यह मिशन मूल रूप से केवल सात दिनों के लिए निर्धारित था, लेकिन तकनीकी खामियों के कारण इसकी अवधि बढ़ गई. बोइंग के स्टारलाइनर स्पेसक्राफ्ट में हीलियम लीक और प्रणोदन प्रणाली में आई दिक्कतों ने इसे पृथ्वी पर सुरक्षित वापसी के लिए अयोग्य बना दिया. इस वजह से सुनीता विलियम्स और उनकी टीम को अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) पर नौ महीने से अधिक समय तक रहना पड़ा.
कब और कैसे होगी वापसी?
नासा की चार सदस्यीय टीम पृथ्वी पर स्पेसएक्स क्रू ड्रैगन कैप्सूल के जरिए लौट रही है. यह कैप्सूल 16 मार्च (रविवार) को अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) पहुंचा था. अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने 15 मार्च, 2025 (अमेरिकी समयानुसार) को फाल्कन 9 रॉकेट के जरिए क्रू-10 मिशन लॉन्च किया, जिसने ISS पर विलियम्स और उनकी टीम की जगह एक नई टीम को भेजा.
अब वापसी का यह सफर सोमवार, 17 मार्च की शाम को शुरू हुआ, जब स्पेसक्राफ्ट ने ISS से अनडॉकिंग (अलग होने की प्रक्रिया) पूरी की. 18 मार्च, सुबह 10:35 IST पर उनकी पृथ्वी की ओर वापसी शुरू हो गई है. 19 मार्च, भारतीय समयानुसार उनकी लैंडिंग सुबह 3:27 पर फ्लोरिडा तट के पास पानी में स्प्लैशडाउन यानी समुद्र में लैंडिंग होगी.
इस सफर में करीब 17 घंटे लगेंगे. नासा की ओर से इस इवेंट का एक अनुमानित शेड्यूल जारी किया गया है. इसमें मौसम के कारण बदलाव भी हो सकता है. नासा के अनुसार 19 मार्च को सुबह 2:41 बजे डीऑर्बिट बर्न शुरू होगा. यानी, कक्षा से उल्टी दिशा में स्पेसक्राफ्ट का इंजन फायर किया जाएगा. इसके बाद स्पेसक्राफ्ट की पृथ्वी के वातावरण में एंट्री होगी और सुबह के समय लैंडिंग होगी.
कहां होगी लैंडिंग?
सुनीता विलियम्स और उनके साथियों का स्प्लैशडाउन फ्लोरिडा (अमेरिका) के तट के पास होने की उम्मीद है. लैंडिंग के बाद, नासा की टीम सभी अंतरिक्ष यात्रियों को ह्यूस्टन, टेक्सास में स्थित जॉनसन स्पेस सेंटर ले जाएगी, जहां उनका मेडिकल चेकअप और अन्य पोस्ट-मिशन ट्रीटमेंट किया जाएगा. इससे वे पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण के अनुकूल दोबारा ढल सकेंगी, क्योंकि वे नौ महीने तक माइक्रोग्रैविटी में रही हैं.