Tokyo Olympics 2020: कोच शुअर्ड मरीन ने महिला हॉकी टीम को लेकर दिया बड़ा बयान, कहीं ये बातें
भारतीय महिला हॉकी टीम (Photo Credits: PTI)

टोक्यो: भारतीय महिला हॉकी टीम (Indian Women's Hockey Team) के मुख्य कोच शुअर्ड मरीन (Shuard Marine) ने कहा कि उनकी टीम ने भले ही टोक्यो ओलंपिक 2020 (Tokyo Olympics 2020) में पदक नहीं जीता हो, लेकिन उनके खिलाड़ियों ने कुछ बड़ा हासिल किया है, क्योंकि उन्होंने देश को सफलता के सपने देखने के लिए प्रेरित किया. भारत को शुक्रवार को कांस्य पदक (Bronze Medal) के प्लेऑफ में करीबी मुकाबले में ग्रेट ब्रिटेन (Britain) से 4-3 से हार गया. टीम ने हाफ-टाइम में 3-2 से आगे थी, लेकिन अंग्रेजों ने दूसरे हाफ में जोरदार वापसी की और ओलंपिक में केवल तीसरे प्रदर्शन में भारत को ऐतिहासिक पदक से वंचित कर दिया. Tokyo Olympics 2020: कांस्य पदक से चूकी भारतीय महिला हॉकी टीम ने हारकर भी रचा इतिहास

मरीन ने की टीम ने प्रारंभिक दौर से बाहर होने के बाद क्वार्टर फाइनल में शक्तिशाली ऑस्ट्रेलिया को हराकर सेमीफाइनल में जगह बनाकर सभी को चौंका दिया, और हालांकि वे सेमीफाइनल में अर्जेंटीना से हार गईं लेकिन इस टीम ने अपने प्रदर्शन से सबको प्रभावित किया है. यह पूछे जाने पर कि हार के बाद टीम के लिए उनका क्या संदेश है, मरीन ने मीडिया से कहा कि उन्होंने उनसे कहा कि उन्हें उनके प्रदर्शन पर गर्व है.

अंतर्राष्ट्रीय हॉकी महासंघ (एफआईएच) ने मरीन के हवाले से कहा, पहली भावना हारने के बारे में है. हाँ आप जीतना चाहते हैं लेकिन, वास्तव में, मुझे गर्व महसूस होता है. मुझे लड़कियों पर गर्व है, कैसे उन्होंने फिर से अपनी लड़ाई और कौशल दिखाया. आम तौर पर जब भारतीय महिला टीम 2-0 से नीचे होती थी तो स्कोर हमेशा 3-0, 4-0 हो जाता है लेकिन अब वे लड़ते रहे. यह सबसे बड़ा बदलाव है.

उन्होंने कहा कि लड़कियों को गर्व होना चाहिए कि उन्होंने पदक से बड़ा कुछ हासिल किया है.

मरीन ने कहा, और मैंने लड़कियों से कहा, 'सुनो, मैं तुम्हारे आंसू नहीं पोछ सकता. हमने पदक नहीं जीता, लेकिन मुझे लगता है कि हमने कुछ बड़ा हासिल किया है, और यह एक देश को प्रेरणा दे रहा है. देश को गर्व है. मुझे लगता है कि दुनिया ने एक और अलग भारतीय टीम देखी है, और मुझे वास्तव में उस पर गर्व है.