Vaccination Update: भारत ने 6 दिनों में मलेशिया, सऊदी अरब और कनाडा से भी ज्यादा किया वैक्सीनेशन
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: Pixabay)

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने शनिवार को देश में टीकाकरण (Vaccination) की प्रगति और कोविड-19 (Covid-19) के हालात की समीक्षा के लिए शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक कर समीक्षा की. अधिकारियों ने देश में टीकाकरण की प्रगति पर प्रधानमंत्री के सामने एक प्रजेंटेशन दिया. प्रधानमंत्री को उम्रवार टीकाकरण के बारे में बताया गया. प्रधानमंत्री को विभिन्न राज्यों में स्वास्थ्य कर्मचारियों (Health Workers), फ्रंटलाइन कर्मचारियों (Frontline Workers) और सामान्य जनसंख्या (General Population) के टीकाकरण की स्थिति के बारे में भी बताया गया. अधिकारियों ने आने वाले महीनों में वैक्सीन (Vaccine) की आपूर्ति और उत्पादन बढ़ाने के लिए किए जा रहे प्रयासों के बारे में प्रधानमंत्री को अवगत कराया. Uttar Pradesh Vaccination Update: उत्तर प्रदेश सरकार ने तीन करोड़ से अधिक लोगों का किया टीकाकरण

प्रधानमंत्री को बताया गया कि पिछले छह दिनों में 3.77 करोड़ डोज लगा दी गई हैं, जो मलेशिया, सऊदी अरब और कनाडा जैसे देशों की कुल आबादी से ज्यादा है. इस बात पर भी चर्चा की गई कि देश में 128 जिलों में 45 वर्ष से अधिक उम्र की 50 प्रतिशत से ज्यादा और 16 जिलों में 45 वर्ष से अधिक उम्र की 90 प्रतिशत से ज्यादा आबादी का टीकाकरण कर दिया गया है. प्रधानमंत्री ने इस हफ्ते टीकाकरण की गति में बढ़ोतरी पर संतोष जाहिर किया और इस बात पर जोर दिया कि इस गति को बनाए रखना खासा महत्वपूर्ण है.

अधिकारियों ने प्रधानमंत्री को बताया कि वे टीकाकरण के उद्देश्य से लोगों तक पहुंचने के नए तरीके खोजने और उन्हें लागू करने के लिए राज्य सरकारों के साथ संपर्क में हैं. प्रधानमंत्री ने इन प्रयासों में एनजीओ और अन्य संगठनों को जोड़ने की जरूरत पर बात की.

प्रधानमंत्री ने अधिकारियों को राज्यों के साथ मिलकर यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि जांच की गति कम न हो, क्योंकि किसी भी क्षेत्र में संक्रमण में बढ़ोतरी पर नजर रखने और रोक के लिए यह एक बेहद महत्वपूर्ण हथियार है.

अधिकारियों ने प्रधानमंत्री को वैश्विक स्तर पर कोविन प्लेटफॉर्म में बढ़ती दिलचस्पी के बारे में भी अवगत कराया. प्रधानमंत्री ने कहा कि ऐसे सभी देशों की सहायता के लिए प्रयास किए जाने चाहिए, जिन्होंने कोविन प्लेटफॉर्म के रूप में भारत की समृद्ध तकनीक विशेषज्ञता में दिलचस्पी दिखाई है.