उत्तर प्रदेश में रविवार को 24 घंटों के अंदर 13 लोगों की हत्याएं हुईं. ये हत्याएं प्रयागराज, ललितपुर, हरदोई, बाराबंकी, आगरा, कासगंज और मैनपुरी में हुईं. रविवार तड़के प्रयागराज में एक परिवार के पांच लोगों की हत्या हो गई और इसके बाद बाराबंकी जिला में एक पुलिस स्टेशन के पास ही दो लोगों की गोली मारकर हत्या कर दी गई. ललितपुर जिला में एक दोहरा हत्याकांड हो गया, वहीं पश्चिमी आगरा, कासगंज और मैनपुरी में एक-एक हत्या हुई. कासगंज जिला केअलीगंज क्षेत्र में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) विधायक सत्यपाल सिंह राठौर के एक रिश्तेदार राजेश की हत्या कर दी गई. उसकी हत्या बिजली का तार बिछाने को लेकर शुरू हुई हिंसा के बाद हुई. गौर करने वाली बात यह है कि ज्यादातर मामलों में हत्याएं ऐसे क्षेत्रों में हुईं, जो सीसीटीवी कैमरे की जद में नहीं थे.
ज्यादातर मामलों में पुलिस ने हत्या का कारण निजी दुश्मनी बताया. कांग्रेस प्रवक्ता दुहेंद्र त्रिपाठी ने कहा कि प्रदेश में कानून-व्यवस्था दिन-प्रतिदिन बिगड़ती जा रही है. उन्होंने कहा, "यह सच है कि अपराधियों में पुलिस का कोई डर नहीं रह गया है. उन्हें पता है कि प्रदेश में हत्या करना सबसे आसान काम है. वहीं पुलिस बल के लिए सब ठीक नहीं है और हाल के महीनों में पुलिसकर्मियों द्वारा आत्महत्या करने के मामलों से इसके संकेत मिलते हैं."
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समाजवादी पार्टी (सपा) की नेता जूही सिंह ने कहा, "योगी आदित्यनाथ सरकार बढ़ती अपराध दर को लेकर पूरी तरह असंवेदनशील बन गई है. वे कार्यक्रम आयोजित करने को लेकर ज्यादा चिंतित हैं ना कि आम आदमी की समस्याओं को लेकर." उन्होंने कहा, "अपराध दर बढ़ती जा रही है लेकिन सरकार को कोई परेशानी नहीं है."