अग्निपथ के जरिए सरकार संघ की मानसिकता को सेना में डालना चाहती: कांग्रेस

अग्निपथ योजना पर सरकार को लगातार घेरा जा रहा है, विपक्ष लगातार इस योजना को वापस लेने की मांग भी कर रहा है. कांग्रेस ने शनिवार को सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि इस योजना के पीछे सरकार की नियत कुछ और है.

कांग्रेस (Photo Credits: Wikimedia Commons)

नई दिल्ली, 18 जून : अग्निपथ योजना पर सरकार को लगातार घेरा जा रहा है, विपक्ष लगातार इस योजना को वापस लेने की मांग भी कर रहा है. कांग्रेस ने शनिवार को सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि इस योजना के पीछे सरकार की नियत कुछ और है. सरकार संघ की मानसिकता को सेना में डालना चाहती है. कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा, "सरकार की नई योजना को लेकर देश का माहौल देख ही रहे हैं. सरकार इस योजना को लाने का कारण आर्थिक बता रही है, कई विशेषज्ञों के साथ चर्चा करने के बाद यह पता लगा है कि यह योजना दिखाने के लिए आर्थिक है लेकिन असल में सरकार की नियत कुछ और है. सरकार संघ की मानसिकता को सेना में लाना चाहती है."

"नोटबंदी के दौरान 50 दिन में 60 बार परिवर्तन किया गया, जीएसटी के अंदर 10 महीने में 376 बार परिवर्तन हुआ और काले कानून में 1 साल जिद पर अड़े रहने के बाद फिर पीछे हटना पड़ा. सीएए ढाई साल पहले लेकर आए आप कानून नहीं बना पा रहे हो और अब अग्नीपथ योजना में भी पिछले 3 दिनों में 3 बार परिवर्तन हो चुके हैं. सरकार से हम गुजारिश करेंगे कि इस योजना को तुरंत वापस ले." यह भी पढ़ें : Emotional Video: बच्चे ने सौतेले पिता को उसे लीगली गोद लेने को कहा, वीडियो देख आंख में आ जाएंगे आंसूं

उन्होंने आगे कहा, "क्या कारण है कि 4 में से एक को सेना में रखेंगे बाकी तीन को आप वापस भेज देंगे? सरकार समाज का सेनाकरण कर रही है इसलिए यह बहुत चिंता का विषय है. हम आए दिन देखते हैं कि अमेरिका में स्कूल में गोलियां चल रही हैं. सरकार 4 में से 3 नौजवानों को समाज में छोड़ देंगे. समाज में क्या स्थिति होगी? सरकार क्या चाहती है कि हमारे नौजवान गैंग चलाएं? जो हाल डीमोनेटाइजेशन ने अर्थव्यवस्था का किया, यह वही डिमानेटाइजेशन सेना का हाल करेगी." यह भी पढ़ें :

इसके बाद कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा, "वन रैंक वन पेंशन का सरकार का वायदा था और संकल्प था, लेकिन आज वास्तविक स्थिति क्या है? यदि अग्निपथ योजना लागू हो गई तो वन रैंक वन पेंशन का वायदा हो जाएगा, 'नो रैंक, नो पेंशन, सिर्फ टेंशन, विदआउट डायरेक्श." "4 साल बाद इस योजना के तहत एक युवा भूतपूर्व सैनिक हो जाएगा, जबकि 71 साल का बुजुर्ग यह कह रहा है कि मैं देश की सेवा करूंगा. इसलिए नौजवान को बचा लीजिए जब नौजवान ही नहीं रहेगा तो देश नहीं रहेगा. क्या वित्तीय बचत के लिए हम नौजवानों को शहीद कर दें?"

उन्होंने आगे कहा, "उत्तर प्रदेश में युवाओं पर लाठियां चार्ज हो रही हैं, किसानों के आंदोलन में 700 किसानों की मृत्यु हुई थी, उसके बाद आपने कानून वापस लिए थे अब कितने युवाओं के बलिदानो के बाद इसे वापस लेंगे?" कांग्रेस नेता कन्हया कुमार ने भी कहा, "सरकार के एक-एक मंत्री जिस तरह से अग्निपथ योजना के फायदे गिना रहे हैं. ऐसा लग रहा है कि वह कुछ बेच रहें हैं. इस भाषा की मानसिकता को पहचानने की कोशिश कीजिये. मंत्रियों को पहले यह बताना होगा कि इस योजना की जरूरत क्या है? 15 लाख रुपए मिलने वाले थे उसी खाते में यह 20 लाख रुपये भी जाएंगे." दरअसल इस योजना के खिलाफ सड़कों पर तमाम प्रदर्शन किया जा रहा है, जहां कई जगहों पर हिंसक प्रदर्शन भी देखा जा रहा है. बिहार, यूपी, राजस्थान आदि राज्यों में लगातार यह प्रदर्शन किया जा रहा है.

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