चेन्नई, 21 मार्च : चुनावी पंडित और जनमत सर्वे तमिलनाडु (Tamil Nadu) में द्रमुक (DMK) की बड़ी जीत की भविष्यवाणी कर रहे हैं और पार्टी भी अपनी जीत तय करने के लिए मुस्लिम मतदाताओं (Muslim voters) को प्रभावित करने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है. पार्टी के सूत्रों के मुताबिक डीएमके सुप्रीमो और पार्टी के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार एम.के. स्टालिन ने पार्टी के पदाधिकारियों और उम्मीदवारों से साफ तौर पर कह दिया है कि वे मुस्लिम वोट बैंक को लुभाएं.
डीएमके, इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (IUML) और एमएमके के गठबंधन का नेतृत्व डीएमके कर रही है. उसने दोनों पार्टियों को क्रमश: 3 और 2 सीटें दी हैं. राज्य के वोटबैंक गणित पर नजर डालें तो 2011 की जनगणना के अनुसार यहां 5.86 प्रतिशत मुस्लिम आबादी है. डीएमके जानती है कि यह मुस्लिम वोट बैंक बहुत अहम है और लगभग हर सीट में इनके कम से कम 2000 वोट हैं. डीएमके नहीं चाहती है कि यह वोट बैंक विभाजित हो. यह भी पढ़ें :
उधर सत्तारूढ़ दल एआईएडीएमके भाजपा के साथ गठबंधन में है और उनका मुस्लिम आबादी पर फोकस कम ही है. ऐसे में असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम के साथ गठबंधन वाली मक्कल नीडि माईम (एमएनएम) पार्टी मुस्लिम वोटों का कुछ हिस्सा अपनी ओर खींच सकती है. चेन्नई शहर के डीएमके नेता एम. सेंथिलंथन ने आईएएनएस से कहा, "डीएमके मुस्लिम वोट बैंक में विभाजन नहीं होने देगा. हम चाहते हैं कि मुस्लिम समुदाय डीएमके को वोट दें. यदि मुस्लिम समुदाय के वोट नहीं बंटते हैं तो डीएमके आसानी से जीत जाएगा."