नई दिल्ली, 31 मार्च: सरकार ने वरिष्ठ नागरिक बचत योजनाओं, राष्ट्रीय बचत प्रमाणपत्र (एनएससी), सुकन्या समृद्धि योजना और मासिक आय योजना (एमआईएस) जैसी छोटी बचत योजनाओं की ब्याज दरों में उल्लेखनीय वृद्धि की है. नई दरें 1 अप्रैल 2023 से 30 जून 2023 यानी 2023-24 की पहली तिमाही तक प्रभावी रहेंगी. हालांकि, बचत जमा ब्याज दरों और पीपीएफ ब्याज दरों को क्रमश: 4 प्रतिशत और 7.1 प्रतिशत पर अपरिवर्तित रखा गया है. सुकन्या समृद्धि योजना की ब्याज दर मौजूदा 7.6 प्रतिशत से बढ़ाकर 8 प्रतिशत कर दी गई है, जबकि एनएससी की ब्याज दर मौजूदा 7 प्रतिशत से बढ़ाकर 7.7 प्रतिशत कर दी गई है. यह भी पढ़ें: New Foreign Trade Policy, नई विदेश व्यापार नीति, 2030 तक निर्यात,New Foreign Trade Policy, Exports till 2030,
वित्त मंत्रालय द्वारा जारी अधिसूचना में कहा गया- वरिष्ठ नागरिक बचत योजना के लिए ब्याज दर 8 प्रतिशत से बढ़ाकर 8.2 प्रतिशत कर दी गई है, जबकि किसान विकास पत्र (केवीपी) के लिए यह 7.2 प्रतिशत से बढ़ाकर 7.5 प्रतिशत कर दी गई है. हालांकि, मौजूदा केवीपी ब्याज दर 120 महीने की परिपक्वता अवधि के लिए है, जबकि नई दर 115 महीने में परिपक्व होने वाले केवीपी के लिए है.
एमआईएस के लिए, दर को मौजूदा 7.1 प्रतिशत से बढ़ाकर 7.4 प्रतिशत कर दिया गया है और पांच साल की आवर्ती जमा के लिए, ब्याज दर को मौजूदा 5.8 प्रतिशत से बढ़ाकर 6.2 प्रतिशत कर दिया गया है. एक साल की सावधि जमा के लिए ब्याज दर 6.6 प्रतिशत से बढ़ाकर 6.8 प्रतिशत कर दी गई है, जबकि दो साल की सावधि जमा के लिए इसे 6.8 प्रतिशत से बढ़ाकर 6.9 प्रतिशत कर दिया गया है.
इसी तरह, तीन साल की सावधि जमा योजना के लिए ब्याज दर 6.9 फीसदी से बढ़ाकर 7 फीसदी और पांच साल की सावधि जमा योजना के लिए ब्याज दर 7 फीसदी से बढ़ाकर 7.5 फीसदी कर दी गई है. सरकार हर तिमाही के बाद लघु बचत योजनाओं की ब्याज दरों में संशोधन करती है.