India-Canada Tension: अपने ही जाल में फंस गए जस्टिन ट्रूडो, भारत ने निज्जर हत्याकांड पर मांगा सबूत

खालिस्तान आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले पर भारत ने कनाडा को एक बार फिर तगड़ा जवाब दिया है सख्त लहजे में कनाडा को इसके सबूत पेश करने के लिए कहा है.

Justin Trudeau and PM Modi | PTI

नई दिल्ली: खालिस्तान आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले पर भारत ने कनाडा को एक बार फिर तगड़ा जवाब दिया है सख्त लहजे में कनाडा को इसके सबूत पेश करने के लिए कहा है. भारत ने कहा कि कनाडा बिना वजह आरोप न लगाएं और सबूत पेश करे. बता दें कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत का हाथ बताया था. इसके बाद दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया है. भारत कनाडा के आरोपों को बेतुका और निराधार बताते हुए सिरे से खारिज कर चुका है. कनाडा में ISI रच रहा है भारत के खिलाफ साजिश, खालिस्तान की आवाज के पीछे पाकिस्तान का है ये मकसद.

बुधवार (20 सिंतबर) को राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल की गृह मंत्री अमित शाह के साथ नई संसद में मुलाकात हुई थी. साथ ही विदेश मंत्रालय और राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसियों की भी एक बैठक हुई. इसके बाद भारत ने कनाडा से सबूत मांगे हैं. भारत सबूतों के आधार पर कनाडा में जांच में शामिल होने के लिए तैयार है,

भारत पहले ही ट्रूडो के आरोपों से इनकार कर चुका है. दरअसल अल्पमत ट्रूडो सरकार को न्यू डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ खालिस्तान समर्थक जगमीत सिंह का समर्थन प्राप्त है इसलिए कनाडा भारत पर इस तरह के आरोप लगा रहा है. इस बीच भारत सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए योजनाएं बना रही है कि कनाडा में भारतीय प्रवासी सिखों और हिंदुओं के बीच पोलराइजेशन न हों, और भारतीय मूल के लोग सुरक्षित रहें.

बता दें कि 18 जून 2023 को कनाडाई नागरिक और खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की कनाडा में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रुडो ने संसद में बयान देकर भारत पर हत्या में शामिल होने का बेहद संगीन आरोप लगाया है. हालांकि भारत ने कनाडा के इन आरोपों को बेतुका, प्रेरित और आधारहीन बताकर तत्काल ही खारिज कर दिया था.

ट्रूडो ने सोमवार को ‘हाउस ऑफ कॉमन्स’ में अपने बयान में कहा था, "कनाडा की धरती पर एक कनाडाई नागरिक की हत्या में किसी भी विदेशी सरकार की भागीदारी हमारी संप्रभुता का उल्लंघन है और यह अस्वीकार्य है."

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