रायपुर: छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के जंगलों में सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच एक बार फिर भीषण मुठभेड़ हुई है. इस मुठभेड़ में कम से कम 12 नक्सली मारे गए हैं. प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, सुरक्षा बलों का एक दल तलाशी अभियान पर निकला था, जब सुबह गंगालूर क्षेत्र के पीडिया गांव के पास नक्सलियों के साथ मुठभेड़ शुरू हो गई. दंतेवाड़ा के एसपी गौरव राय ने पुष्टि की है कि अब तक मुठभेड़ स्थल से 12 नक्सलियों के शव बरामद किए जा चुके हैं.
11 घंटे तक चली मुठभेड़
मुठभेड़ शाम तक ग्यारह घंटे तक चली, जिसके बाद सुरक्षा बल वापस लौटने की तैयारी कर रहे हैं. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि पीडिया के जंगलों में मुठभेड़ खत्म हो गई है और 12 शव बरामद किए गए हैं. उन्होंने अभियान में शामिल सुरक्षा बलों और अधिकारियों को बधाई दी है.
नक्सलियों के खिलाफ कार्रवाई तेज
मुख्यमंत्री ने कहा, "छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार बनने के बाद से नक्सलियों के खिलाफ कार्रवाई तेज हुई है और हम उन्हें कड़ी टक्कर दे रहे हैं. हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जी भी चाहते हैं कि नक्सलवाद खत्म हो और लोगों को डबल इंजन सरकार का लाभ मिले."
एक हजार से अधिक जवानों का दल शामिल
एक अन्य वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि कोबरा, स्पेशल टास्क फोर्स और जिला रिजर्व गार्ड के जवानों सहित एक हजार से अधिक सुरक्षा बलों की एक विशाल अंतर-जिला टीम नक्सल विरोधी अभियान पर निकली थी. उन्होंने बीजापुर, दंतेवाड़ा और सुकमा जिलों के विभिन्न शिविरों से शुरुआत की और पीडिया के जंगलों में विभिन्न स्थानों पर माओवादियों से मुठभेड़ हुई.
अधिकारी ने कहा कि मारे गए माओवादियों की सही संख्या का पता तब ही चल पाएगा जब सुरक्षा बलों की टीमें एक जगह इकट्ठा होंगी. पुलिस अधिकारियों ने कहा कि जवान सुरक्षित हैं और नक्सलियों को कड़ी टक्कर दे रहे हैं.
हाल ही में हुईं अन्य मुठभेड़ें
16 अप्रैल को सुरक्षा बलों ने कांकेर जिले में एक मुठभेड़ में 29 नक्सलियों को मार गिराया था, जबकि नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ क्षेत्र में एक अन्य मुठभेड़ में 10 नक्सली मारे गए थे.