नई दिल्ली: INDIA शब्द पर सियासी घमासान बढ़ गया है. केंद्र पर ताजा हमला करते हुए, वरिष्ठ कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने दावा किया कि राष्ट्रपति भवन में आयोजित G20 शिखर सम्मेलन (G20 Summit) के रात्रिभोज के निमंत्रण पर पारंपरिक 'President of INDIA' के बजाय 'President of Bharat' लिखा था. कांग्रेस नेता ने X पर पोस्ट किया, "तो यह खबर वाकई सच है. राष्ट्रपति भवन ने 9 सितंबर को जी20 रात्रिभोज के लिए 'प्रेसिडेंट ऑफ इंडिया' के बजाय 'प्रेसिडेंट ऑफ भारत' के नाम पर निमंत्रण भेजा है.'' जय राम रमेश ने आगे लिखा, 'अगर संविधान के आर्टिकल 1 को पढ़ें तो उसमें लिखा है कि भारत जो कि इंडिया है एक राज्यों का समूह होगा, लेकिन अब तो राज्यों के समूह पर भी खतरा है. Sanatana Remark: सनातन पर उदयनिधि स्टालिन के बयान से धर्म संकट में I.N.D.I.A, बवाल के घेरे में पूरा विपक्ष.
संसद के विशेष सत्र से पहले अटकलों का बाजार भी गर्म हो रहा है. सरकार विशेष सत्र में क्या करने वाली है इसकी किसी को खबर नहीं है. यही वजह है कि अलग-अलग तरह की बात हो रही है. इस बात के कयास भी लगाए जा रहे हैं कि संविधान में जहां-जहां इंडिया शब्द का प्रयोग है, वहां अब भारत कर दिया जाएगा. विशेष सत्र के दौरान एक देश एक चुनाव, महिला आरक्षण बिल, इंडिया की जगह भारत जैसे बिल या प्रस्ताव पेश किए जा सकते हैं, ऐसे कयास भी लग रहे हैं. केंद्र सरकार ने 18 से 22 सितंबर के बीच संसद का विशेष सत्र बुलाया है.
प्रेसिडेंट ऑफ भारत
So the news is indeed true.
Rashtrapati Bhawan has sent out an invite for a G20 dinner on Sept 9th in the name of 'President of Bharat' instead of the usual 'President of India'.
Now, Article 1 in the Constitution can read: “Bharat, that was India, shall be a Union of States.”…
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) September 5, 2023
असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने भी मंगलवार को ट्वीट किया और लिखा कि रिपब्लिक ऑफ भारत, ये खुशी और गर्व का विषय है हमारा देश अमृतकाल की ओर तेज़ी से बढ़ रहा है. असम सीएम के इस ट्वीट ने इंडिया शब्द पर घमासान को और बढ़ा दिया है. G20 Summit 2023: वैश्विक नेताओं की मेजबानी के लिए तैयार है दिल्ली, सुरक्षा से लेकर स्वाद तक... ऐसी हैं तैयारियां.
असम सीएम का ट्वीट:
REPUBLIC OF BHARAT - happy and proud that our civilisation is marching ahead boldly towards AMRIT KAAL
— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) September 5, 2023
इंडिया नहीं भारत?
सबसे पहले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के प्रमुख मोहन भागवत ने कहा था कि हमारे देश का नाम काफी पहले से ही भारत है, ऐसे में इसे इंडिया नहीं कहा जाना चाहिए. इनके अलावा राज्यसभा सांसद हरनाथ सिंह यादव ने अपील की थी कि ये शब्द गुलामी का प्रतीक है, ऐसे में इसकी जगह भारत ही संविधान में लिखा जाना चाहिए. ऐसे में ये माना जा रहा है कि संसद के विशेष सत्र में इससे जुड़ा कोई फैसला हो सकता है.