उपराष्ट्रपति वेकैंया नायडू ने CJI बोबडे के हैदराबाद एनकाउंटर वाले बयान पर कहा- न्याय देने में लगातार देरी भी नहीं होनी चाहिए नहीं तो..

भारत के उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया शरद अरविंद बोबडे के बयान पर जवाब दिया है. दिल्ली में एक कार्यक्रम के दौरान वेंकैया नायडू ने कहा कि मैंने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया का एक बयान सुना. बहुत ही कुशलता से उन्होंने कहा, 'आप तुरंत न्याय नहीं दे सकते.' लेकिन ठीक उसी तरह से आप देरी नहीं कर सकते.

उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू और सीजेआई एसए बोबडे (Photo Credits- FB/PTI)

भारत (India) के उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू (M. Venkaiah Naidu) ने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया शरद अरविंद बोबडे (CJI Sharad Arvind Bobde) के बयान पर जवाब दिया है. दिल्ली (Delhi) में एक कार्यक्रम के दौरान वेंकैया नायडू ने कहा कि मैंने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया का एक बयान सुना. बहुत ही कुशलता से उन्होंने कहा, 'आप तुरंत न्याय (Instant Justice) नहीं दे सकते.' लेकिन ठीक उसी तरह से आप देरी नहीं कर सकते. यह हम सभी के लिए चिंता का विषय है और सभी को यह देखना चाहिए कि उनके कर्तव्यों का अच्छे से पालन हो.

उपराष्ट्रपति सचिवालय ने एक बयान में बताया कि वेंकैया नायडू ने अपनी टिप्पणी के दौरान कहा कि न्याय तुरंत नहीं हो सकता लेकिन न्याय देने में लगातार देरी भी नहीं होनी चाहिए नहीं तो लोग अशांत हो जाएंगे और कानून को अपने हाथ में लेने की कोशिश करेंगे. यह भी पढ़ें- हैदराबाद एनकाउंटर के बाद CJI अरविंद बोबडे का बड़ा बयान- बदले की भावना से किया गया न्याय, इंसाफ नहीं.

साथ ही उन्होंने कहा कि कुछ मामलों जैसे चुनाव याचिकाओं और मौजूदा सांसदों व विधायकों के खिलाफ दर्ज आपराधिक मामलों में समयबद्ध तरीके से फैसला दिए जाने की जरूरत है.

गौरतलब है कि सीजेआई शरद अरविंद बोबडे ने शनिवार को अपने एक बयान में कहा था कि न्याय को कभी बदले का रूप नहीं लेना चाहिए. अगर न्याय बदले का रूप ले ले तो वो न्याय नहीं है. उन्होंने कहा था कि न्याय अगर बदले की भावना से किया जाए तो वह अपना मूल चरित्र खो देता है. न्याय कभी भी आनन-फानन में किया नहीं जाना चाहिए.

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