RSS के महासचिव भैयाजी जोशी बोले, BJP विरोध का मतलब हिंदू-विरोध नहीं, हिंदुओं को सियासी लड़ाई से न जोड़ा जाए

जोशी ने कहा हिंदू कि समुदाय का मतलब भारतीय जनता पार्टी से संबंधित होना नहीं है. साथ ही, भाजपा की खिलाफत करने को हिंदूओं के विरोध के तौर नहीं देखा जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि राजनैतिक लड़ाई चलती रहेगी, लेकिन इसे हिंदुओं से नहीं जोड़ा जाना चाहिए.

संघ महासचिव भैयाजी जोशी (Photo Credits ANI)

पणजी: आरएसएस द्वारा गोवा के पणजी में आयोजित एक कार्य्रकम में शामिल होने के लिए राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ (RSS)के सर कार्यवाह भैयाजी जोशी (Bhaiyyaji Joshi) पहुंचे हुए थे. जहां पर उन्होंने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि हिंदू समुदाय का मतलब भारतीय जनता पार्टी नहीं हैं. जिसके विरोध को हिन्दुओं से जोड़ दिया जाए और कहा जाए कि बीजेपी (BJP) का विरोध करना हिंदुओं का विरोध है. उन्होंने कहा कि देश में इस तरह ही राजनीतिक लड़ाई आगे भी चलती रहेगी, लेकिन इसे हिंदुओं से नहीं जोड़ा जाना चाहिए. आरएसएस का यह कार्यक्रम पणजी के निकट दोना पावला में आयोजित किया गया था. जहां पर जोशी अपने व्याख्यान के दौरान यह बात कही.

दरअसल व्याख्यान में किसी ने इस तरह का सवाल जोशी से पूछा जिसका जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि हमें बीजेपी के विरोध को हिंदुओं का विरोध नहीं मानना चाहिए. यह एक राजनीतिक लड़ाई है जो चलती रहेगी. जिसे आगे भी देखने को मिलेगा. इसलिए इसे हिंदुओं से नहीं जोड़ा चाहिए. खबरों की माने तो जोशी के इस बयान पर विवाद न हो इसके लिए उन्होंने अपनी बात को स्पष्ट करते हुए यह भी कहा कि उनका मतलब यह नहीं है कि वह किसी समुदाय के खिलाफ हैं. वह बस यह कहना चाहते हैं कि प्राथमिक रूप से काम हिंदुओं के लिए होना चाहिए.यह भी पढ़े: आरएसएस सरकार्यवाह भैयाजी जोशी बोले, उन्हें ऐसा नहीं लगता कि देश में हिंदू नेता असुरक्षित हैं

हिंदू समुदाय का मतलब बीजेपी नहीं: भैयाजी जोशी

खबरों की माने तो आरएसएस के इस कार्यक्रम के दौरान जोशी ने नागरिकता संशोधन कानून को लेकर देश में हो रहे विरोध को लेकर भी बात कही. उन्होंने कहा कि सीएए सरकार ने पास किया है और राज्यों को इसे लागू करना होगा. यह केंद्र का विषय है राज्य सरकारों का विषय नहीं है. बता दें कि भैयाजी जोशी आरएसएस के शीर्ष चेहरों में से एक रहे हैं. वे हिन्दुओ की रक्षा दूसरे अन्य मुद्दों पर बीच- बीच में बयान देते रहते हैं. पिछले साल की बात है. लखनऊ में हिंदू महासभा के नेता कमलेश तिवारी की हत्या को लेकर कहा था कि देश में हिंदू नेता असुरक्षित नहीं हैं, लेकिन उनकी सुरक्षा सुनिश्चित होनी चाहिए. (इनपुट भाषा)

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