Venkaiah Naidu Farewell: खड़गे ने शायरी पढ़कर दी वेंकैया नायडू को विदाई, कहा- हम मुसाफिर हैं, फिर किसी मोड़ पे मुलाकात होगी
मल्लिकार्जुन खड़गे ने सभापति एम. वेंकैया नायडू के विदाई भाषण में उनके साथ अपने रिश्तों को याद किया. उनके साथ मिलकर बनाए गए महत्वपूर्ण कानूनों की चर्चा की. फिर आखिरी में एक शायरी कही...
नई दिल्ली, 8 अगस्त: संसद के मानसून सत्र की कार्यवाही के दौरान आज राज्यसभा (Rajya Sabha) में सभापति एम. वेंकैया नायडू (Venkaiah Naidu) को विदाई (Farewell) दी गई. विपक्ष के नता मल्लिकार्जुन खड़गे (Mallikarjun Kharge) ने वेंकैया नायडू को विदाई देते हुए कहा, आपने सभी प्रमुख राज्यों में उच्च सदनों के लिए राष्ट्रीय नीति की वकालत की थी. आपने महिला आरक्षण विधेयक और अन्य मुद्दों पर आम सहमति की भी बात की. मुझे विश्वास है कि आप जो अधूरा छोड़ रहे हैं, उसे सरकार पूरा करेगी. Bihar Politics: क्या बिहार में 11 अगस्त से पहले टूट जाएगा NDA गठबंधन, RJD के साथ सरकार बनाएंगे नीतीश कुमार?
मल्लिकार्जुन खड़गे (Mallikarjun Kharge) ने आगे कहा "हम दो अलग-अलग विचारधाराओं के लोग हो सकते हैं. मुझे आपसे कुछ शिकायतें भी हो सकती हैं, लेकिन यह उनके बारे में बात करने का समय नहीं है. आपने इतनी कठिनाई और दबाव में भी अपनी भूमिका निभाई, इसके लिए मैं आपको धन्यवाद देता हूं."
राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने सभापति एम. वेंकैया नायडू के विदाई भाषण में उनके साथ अपने रिश्तों को याद किया. उनके साथ मिलकर बनाए गए महत्वपूर्ण कानूनों की चर्चा की. फिर आखिरी में एक शायरी (Shayari) के साथ कहा, सदाओं को अल्फाज मिलने न पाएं न बादल घिरेंगे न बरसात होगी. मुसाफिर हैं हम भी मुसाफिर हो तुम भी, किसी मोड़ पर फिर मुलाकात होगी.
पीएम मोदी ने कही ये बात
सभापति एम. वेंकैया नायडू के विदाई भाषण में पीएम मोदी ने कहा, निजी तौर पर यह मेरा सौभाग्य रहा है कि मैंने आपको अलग.अलग भूमिकाओं में करीब से देखा है. मुझे भी उन कुछ भूमिकाओं में आपके साथ काम करने का सौभाग्य मिला. एक पार्टी कार्यकर्ता के रूप में आपकी वैचारिक प्रतिबद्धता हो, एक विधायक के रूप में आपका काम हो, एक सांसद के रूप में सदन में आपकी गतिविधि हो, पार्टी प्रमुख के रूप में आपका नेतृत्व हो, कैबिनेट में आपकी कड़ी मेहनत हो, उपराष्ट्रपति और राज्यसभा अध्यक्ष के रूप में, मैंने आपको अपनी सभी भूमिकाओं में निष्ठापूर्वक काम करते देखा है.
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा "आपने कभी किसी काम को बोझ नहीं माना. हर काम में एक नई जान फूंकने की कोशिश की है. इस बार का 15 अगस्त, स्वतंत्र भारत में पैदा हुए राष्ट्रपति, उपाध्यक्ष, अध्यक्ष और प्रधानमंत्री के नेतृत्व में मनाया जाएगा."