
नई दिल्ली:- देश की राजधानी दिल्ली की सीमाओं पर डटे किसानों का आंदोलन गुरुवार को 22वें दिन जारी है. किसान केंद्र सरकार द्वारा लागू तीन नये कृषि कानूनों (New Farm Laws) को वापस लेने की मांग कर रहे हैं. केंद्र सरकार के खिलाफ कई पॉलिटिकल पार्टियों ने मोर्चा खोल दिया है. जो किसानों के आंदोलन का समर्थन और मोदी सरकार के विरोध में बोल रहे हैं. इसी कड़ी में दिल्ली के CM अरविंद केजरीवाल (CM Arvind Kejriwal) ने भी जमकर हमला किया. उन्होंने दिल्ली विधानसभा के एक विशेष सत्र में किसान आंदोलन पर कहा कि केंद्र सरकार कह रही है कि किसानों को कृषि कानूनों का फायदा समझ नहीं आ रहा इसलिए अपने दिग्गज़ नेताओं को उतारा है.
सीएम केजरीवाल ने कहा कि आंदोलन में 20 से ज्यादा किसान शहीद हो चुके हैं. हर दिन एक किसान आंदोलन शहीद हो रहा हैं. मैं केंद्र सरकार से पूछना चाहता और कितनी शहादत और कितनी जान आप लोगे? देश के किसानों की मांगों के साथ AAP मज़बूती के साथ खड़ी है.
उन्होंने कहा कि योगी आदित्यनाथ एक रैली में कह रहे थे कि इन कानूनों से किसी की ज़मीन नहीं जाएगी, ये फायदा है क्या? उन्होंने कहा कि बीजेपी वाले कहते हैं कि किसान अब अपनी फसल पूरे देश में कहीं भी बेच सकता है. धान का MSP 1868 रुपये है, ये बिहार और उत्तर प्रदेश में 900-1000 रुपये में बिक रहा है. मुझे बता दीजिए कि ये किसान देश में कहां अपनी फसल बेचकर आएं. इस दौरान सीएम केजरीवाल ने कृषि कानून की कॉपी फाड़ी दी. Farmers Protest: कृषि बिल को लेकर सियासत जारी, शिवराज सिंह ने विपक्ष पर बोला हमला, कहा-वो किसानों के कंधों पर बंदूक रखकर चलाना चाहते हैं.
ANI का ट्वीट:-
What was the hurry to get Farm Laws passed in Parliament during pandemic? It has happened for 1st time that 3 laws were passed without voting in Rajya Sabha...I hereby tear 3 Farm laws in this assembly & appeal Centre not to become worst than Britishers: Delhi CM Arvind Kejriwal https://t.co/zvc2Dx1w3E pic.twitter.com/rUOACIQwp3
— ANI (@ANI) December 17, 2020
इस दौरान आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायकों ने केंद्रीय कृषि कानून की प्रतियां फाड़ी। इन तीनों कानूनों को संसद द्वारा पारित किया गया है. आम आदमी पार्टी के विधायक व पूर्व मंत्री सोमनाथ भारती और एक अन्य विधायक मोहिंदर ने सदन के भीतर केंद्र सरकार के इन तीनों कानूनों की प्रतियों को फाड़कर अपना विरोध दर्ज कराया.
आम आदमी पार्टी के विधायकों ने केंद्रीय कृषि कानूनों को मानने से इनकार कर दिया. आप विधायकों ने इन कानूनों की प्रति फाड़ने के बाद कहा कि हम इन कानूनों को मानने से इनकार करते हैं। यह काले कानून किसानों के हितों के खिलाफ हैं.