पतंजलि ने तैयार की कोरोना की पहली आयुर्वेदिक दवा 'दिव्य कोरोनील टैबलेट', आज दोपहर 12 बजे होगी लॉन्च

पतंजलि योगपीठ की ओर से बताया गया है कि कोरोना टैबलेट पर हुआ यह शोध पतंजलि रिसर्च इंस्टीट्यूट हरिद्वार और नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस जयपुर की कोशिशों का परिणाम है. टैबलेट का निर्माण दिव्य फार्मेसी और पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड हरिद्वार में किया जा रहा है.

पतंजलि (Photo Credit: Twitter)

हरिद्वार: कोरोना संकट (Corona Crisis) के बीच दुनियाभर में इस महामारी की दवा बनाने की कोशिशें जारी है. इस बीच योग गुरु बाबा रामदेव (Ramdev) के संस्थान पतंजलि (Patanjali) ने कोरोना की पहली आयुर्वेदिक दवा कोरोनिल को लॉन्च करने जा रहा है. यह लॉन्च मंगलवार दोपहर 12 बजे हरिद्वार के पतंजलि योगपीठ में किया जाएगा. बताया जा रहा है कि पतंजलि कोरोना की एविडेंस बेस्ड पहली आयुर्वेदिक दवा 'कोरोनिल' को पूरे वैज्ञानिक विवरण के साथ लॉन्च करने जा रहा है. इस दौरान बाबा रामदेव मौजूद रहेंगे.

पतंजलि योगपीठ की ओर से बताया गया है कि कोरोना टैबलेट पर हुआ यह शोध पतंजलि रिसर्च इंस्टीट्यूट हरिद्वार और नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस जयपुर की कोशिशों का परिणाम है. टैबलेट का निर्माण दिव्य फार्मेसी और पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड हरिद्वार में किया जा रहा है. पतंजलि मंगलवार को COVID-19 रोगियों पर रैंडमाइज्ड प्लेसबो नियंत्रित क्लिनिकल ट्रायल के परिणाम का खुलासा करेगा. यह भी पढ़ें- कोरोना वायरस: स्वास्थ्य मंत्रालय ने आपातकालीन स्थिति में रेमडेसिविर दवा के इस्तेमाल की अनुमति दी. 

आचार्य बालकृष्ण का ट्वीट-

पतंजलि योगपीठ की ओर से जारी सूचना में कहा गया कि हमें आपको यह बताते हुए खुशी हो रही है कि स्वामी रामदेव और आचार्य बालकृष्ण (Balkrishna) COVID -19 के इलाज में प्रमुख सफलता को साझा करेंगे. ट्रायल में वैज्ञानिकों, शोधकर्ताओं और डॉक्टरों की टीम भी मौजूद रहेगी.

इस महीने की शुरुआत आचार्य बालकृष्ण ने दावा किया था कि कंपनी द्वारा विकसित एक आयुर्वेदिक दवा 5-14 दिनों के भीतर COVID-19 रोगियों को ठीक करने में सक्षम है. "हमने COVID-19 के प्रकोप के बाद वैज्ञानिकों की एक टीम नियुक्त की. सबसे पहले, सिमुलेशन किया गया था और यौगिकों की पहचान की गई थी जो वायरस से लड़ सकते हैं और शरीर में इसके प्रसार को रोक सकते हैं. फिर, हमने सैकड़ों सकारात्मक रोगियों पर इसका अध्ययन किया.

आचार्य बालकृष्ण ने कहा, "हमें 100 प्रतिशत अनुकूल परिणाम मिले हैं." आचार्य बालकृष्ण ने दावा किया कि "हमारी दवा लेने के बाद, COVID-19 मरीज 5-14 दिनों के भीतर संक्रमण से मुक्त हो गए. इसलिए, हम कह सकते हैं कि COVID-19 का इलाज आयुर्वेद के माध्यम से संभव है. "

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