Mangesh Yadav Encounter: मंगेश यादव एनकाउंटर पर अखिलेश यादव ने फिर उठाए सवाल, भाजपा ने किया पलटवार
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नई दिल्ली, 11 सितंबर, : उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर में डकैती के आरोपी मंगेश यादव के एनकाउंटर को लेकर सियासत जारी है. एनकाउंटर को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और समाजवादी पार्टी के बीच जुबानी जंग हो गई है. इसी क्रम में समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस मुद्दे को लेकर एक बार फिर योगी सरकार पर निशाना साधा है.

उन्होंने कहा कि भाजपा में मुठभेड़ की झूठी कहानी बनाती है और फिर⁠ दुनिया को झूठी तस्वीरें दिखाती है. तथाकथित बड़े भाजपाई नेताओं से ऐसे गैरक़ानूनी एनकाउंटर को सही साबित करने के लिए तर्कहीन बयानबाज़ी भी कराती है. अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि भाजपा राज में एनकाउंटर का एक पैटर्न सेट हो गया है : पहले किसी को उठाओ, फिर झूठी मुठभेड़ की कहानी बनाओ, ⁠फिर दुनिया को झूठी तस्वीरें दिखाओ, ⁠फिर हत्या के बाद परिवारवालों द्वारा सच बताए जाने पर तरह-तरह के दबाव व प्रलोभन से उन्हें दबाओ. यह भी पढ़ें : Pawan Kalyan meet with Revanth Reddy: पवन कल्याण ने रेवंत रेड्डी से मुलाकात की, मुख्यमंत्री राहत कोष के लिए सौंपा 1 करोड़ रुपये का चेक

⁠विपक्षी राजनीतिक दलों द्वारा भंडाफोड़ होने पर अपने दोयम दर्जे के नेताओं को आगे करके शीर्ष नेतृत्व को बचाओ. ⁠फिर ‘जिसका दाना-उसका गाना’ वाले संबंधों को निभाने वाले मीडिया को दुष्प्रचार के लिए लगाओ. ⁠फिर झूठ में पारंगत अपने तथाकथित बड़े भाजपाई नेताओं से ऐसे ग़ैरक़ानूनी एनकाउंटर को सही साबित करने के लिए तर्कहीन बयानबाज़ी कराओ. ⁠सच्चे मीडिया को विपक्ष या विदेशी समर्थन पर जीने वाला साबित करके उनकी बदनामी करवाओ और ⁠जनाक्रोश बढ़ने पर औपचारिक, दिखावटी जांच कराकर मामला रफ़ा-दफ़ा करवाओ. भाजपा अपने दल-बल के साथ ऐसे एनकाउंटरों को जितना अधिक सच साबित करने में लग जाती है, वो एनकाउंटर दरअसल उतना ही बड़ा झूठ होता है. भाजपा ने सच का ही एनकाउंटर कर दिया है.

सपा प्रमुख अखिलेश यादव के बयान पर भाजपा प्रवक्ता राकेश त्रिपाठी ने पलटवार किया है. उन्होंने वीडियो शेयर कर कहा, "समाजवादी पार्टी की लाल टोपी के नीचे का काला चेहरा सामने आता जा रहा है. एनकाउंटर (गैंगस्टर मंगेश यादव) के बाद अखिलेश यादव का दर्द और बढ़ जाता है, अपराधियों के साथ उनका कैसा गठजोड़ है ये एनकाउंटर से उनकी पीड़ा को समझा जा सकता है. अखिलेश यादव अब अपराधियों की जाति बताने के काम कर रहे हैं. वो शहीद पुलिसकर्मी या घायल पुलिस वालों की जाति नहीं देखना चाहते हैं. वो अपराधियों की जाति देख रहे हैं. वह अयोध्या में पीड़ित लड़की की जाति नहीं देखते हैं, वो अपराधियों की जाति बताकर के उनके साथ पेशबंदी में खड़े हो रहे हैं यह दुर्भाग्य की बात है."