भोपाल: देश का पेट भरने वाले किसान की हालत आज इतनी खराब है की उसे खुद भूखा रहना पड़ रहा है. इसकी असल वजह किसानों के उपज की सही कीमत ना मिलना है. ऐसा ही कुछ वाकिया मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के मंदसौर (Madsaur) में हुआ है. जहां रहने वाले एक किसान की मौत इसलिए हो गई क्योकि मंडी में उसकी फसल की सही कीमत नहीं मिली.
जानकारी के मुताबिक मंदसौर जिले की मल्हारगढ़ तहसील के उजागरिया गांव का किसान भेरूलाल मालवीय अपने पास की मंडी में 27 क्विंटल प्याज बेचने आया था. जहां उसे प्याज के दाम सुनकर हार्ट अटैक आ गया. दरअसल किसान को उसकी लागत भी नहीं निकल रही थी. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो भेरूलाल को 27 क्विंटल प्याज के सिर्फ 10 हजार 45 रुपये दाम ही मिल सके. इस कारण उसे तगड़ा सदमा लगा और हार्ट अटैक आ गया.
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मज़बूरी में 40 साल के भेरूलाल ने मंडी में प्याज तो बेच दी लेकिन जैसे ही उसे व्यापारी से पैसे मिले तो उसके सीने में दर्द होने लगा. वह सदमे के कारण अचानक गिर पड़ा. जिसके बाद तत्काल भेरूलाल को अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई.
भेरूलाल का नाबालिग पुत्र भी अपने पिता के साथ प्याज बेचने के लिए मंडी आया था. इस दर्दनाक हादसे के बाद उसने बताया कि प्याज बेचने के बाद अचानक पापा को सीने में दर्द हुआ और उनकी मौत हो गई. वहीं परिजनों का आरोप है कि प्याज के सही दाम नहीं मिलने के कारण भेरूलाल की मौत हुई है इसलिए सरकार को मदद करनी चाहिए.
किसानों को रुला रही है प्याज-
प्याज के दाम में भारी गिरावट के बाद केंद्र सरकार ने प्याज के निर्यात पर प्रोत्साहन को दोगुना कर दिया है. किसानों को अधिक मूल्य दिलाने की कवायद के तहत उठाए गए इस कदम के बावजूद भी किसानों की हालत जस की तस बनी हुई है. हालत इतने ख़राब है कि किसानों की उनकी लागत भी नहीं मिल पा रही है. ऐसे में मंडी में ले जाने का खर्चा भी किसानों को अपनी जेब से देना पड़ रहा है.
भारत ने इस साल अप्रैल से अक्टूबर के बीच 25.6 करो़ड़ डॉलर के प्याज का निर्यात किया. पिछले साल की इसी अवधि में यह आंकड़ा 51.15 करोड़ डॉलर का रहा था. कर्नाटक, गुजरात और मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में अच्छी बारिश के कारण प्याज का बहुत अधिक उत्पादन हुआ है.