तिरुवनंतपुरम, 6 नवंबर: केरल (Kerala) में सोने की तस्करी मामले की मुख्य आरोपी स्वप्ना सुरेश अपने खिलाफ दर्ज सभी छह मामलों में जमानत मिलने के बाद शनिवार को जेल से बाहर आ गई. वह एक साल दो महीने की अवधि के बाद जेल से बाहर आई है. उसे तिरुवनंतपुरम के अट्टाकुलंगरा महिला जेल से रिहा किया गया और उनकी मां प्रभा सुरेश ने जेल परिसर के बाहर उसका स्वागत किया. तेलंगाना पुलिस ने बंगाल में अंतरराज्यीय क्रिप्टो ट्रेडिंग रैकेट का किया भंडाफोड़
केरल उच्च न्यायालय ने 2 नवंबर को यूएपीए मामले में स्वप्ना सुरेश को जमानत दे दी थी, लेकिन आधिकारिक औपचारिकताओं के कारण उनकी रिहाई में शनिवार को देरी हुई. केरल उच्च न्यायालय ने एनआईए द्वारा दर्ज यूएपीए मामले में स्वप्ना और सात अन्य को जमानत देते हुए कहा कि प्रथम ²ष्टया अदालत को कोई सबूत नहीं मिला कि उसने एनआईए के आरोप के अनुसार कोई आतंकवादी कृत्य किया था.
स्वप्ना सुरेश व उसके साथियों सहित पी.एस. सरथ और संदीप नायर ने केरल की राजनीति को हिलाकर रख दिया था. इनलोगों पर तिरुवनंतपुरम में संयुक्त अरब अमीरात के वाणिज्य दूतावास को कवर के रूप में इस्तेमाल करके राजनयिक चैनलों के माध्यम से सोने की तस्करी में शामिल होने का आरोप लगाया गया था. कई एजेंसियों ने जून 2020 में तिरुवनंतपुरम अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के एयर कार्गो सेंटर में राजनयिक सामान से 14.82 करोड़ रुपये मूल्य के 30 किलोग्राम सोने की तस्करी से जुड़े मामले की जांच की थी। स्वप्ना और संदीप को एनआईए ने गिरफ्तार किया था, जबकि सरथ को कस्टम विभाग ने गिरफ्तार किया था.
केरल के मुख्यमंत्री कार्यालय की संलिप्तता और बाद में मुख्यमंत्री के शक्तिशाली प्रधान सचिव एम. शिवशंकरन की गिरफ्तारी की खबरें आने के बाद मामला सनसनीखेज बन गया था.